गोलान हाइट्स पर इजरायल के कब्जे को मान्यता देने के अमेरिकी फैसले को अरब लीग ने किया खारिज़

अरब लीग की बैठक में रविवार को अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की इजरायल नीति की निंदा की गई। बैठक में गोलन पहाडि़यों पर इजरायल के अधिकार को मान्यता देने के हाल के ट्रंप के फैसले और इससे पहले यरुशलम को इजरायल की राजधानी बनाने के फैसले पर कड़ा एतराज जताया गया, लेकिन आपसी प्रतिद्वंद्विता के चलते अरब लीग बंटी हुई भी दिखी।

सऊदी अरब की अगुआई वाले इस संगठन की बैठक में कतर के अमीर शेख तमीम बिन हामद अल-थानी आए तो, लेकिन कुछ ही देर बाद बिना कोई कारण बताए उठकर चले गए। सऊदी और कतर के बीच दो साल से तनातनी चल रही है।

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जागरण डॉट कॉम के अनुसार, अरब जगत अपने अंदरूनी मामलों से इन दिनों अशांत है। यमन में जारी युद्ध और अल्जीरिया व सूडान में चल रही अशांति का कोई निदान नहीं निकल पा रहा है। यमन में सऊदी अरब और ईरान भिड़े हुए हैं। तो लेबनान और कतर में भी हितों का टकराव चल रहा है।

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बैठक में सऊदी अरब के शाह सलमान बिन अब्दुल अजीज ने अरब जगत से कहा, उनका देश सीरिया की संप्रभुता को नुकसान पहुंचाने वाले गोलन पहाडि़यों से संबंधित अमेरिका के फैसले को पूरी तरह से खारिज करता है।

उल्लेखनीय है कि सन 1967 में युद्ध के दौरान इजरायल ने सीरिया की गोलन पहाडि़यों पर कब्जा कर लिया था। तब से इजरायल ने सीरिया को इन पहाडि़यों को नहीं लौटाया। गोलन पहाडि़यों के मुद्दे पर अरब लीग ने सर्वसम्मति से निंदा प्रस्ताव पारित किया। अरब लीग अरब जगत के 22 देशों का संगठन है।