तृणमूल ने कहा- ‘नेताओं का बीजेपी में जाना चिंता का विषय नहीं है’

लोकसभा चुनाव में प्रभावकारी प्रदर्शन के बाद भाजपा पश्चिम बंगाल में अपनी स्थिति और मजबूत बनाने में लगी है। इसी क्रम में कल तृणमूल कांग्रेस के दो विधायक और 60 से पार्षद भाजपा में शामिल हो गए जिसमें भाजपा नेता मुकुल राय के पुत्र शुभ्रांशू राय शामिल हैं।

इंडिया टीवी न्यूज़ डॉट कॉम के अनुसार, इस घटना को तृणमूल कांग्रेस ने ‘मामूली संकट’ बताया है और कहा कि पार्टी 2021 के विधानसभा चुनाव में जोरदार वापसी करेगी।

दिल्ली में भाजपा नेता कैलाश विजयवर्गीय की मौजूदगी में दो विधायक भाजपा में शामिल हुए। इनमें भाजपा नेता मुकुल रॉय के बेटे सुभ्रांग्शु रॉय शामिल हैं।

विजयवर्गीय ने कहा कि तृणमूल के अभी और कई नेता भाजपा में शामिल होंगे। तृणमूल के तुषार कांति भट्टाचार्य और माकपा के देबेंद्र नाथ रॉय दो अन्य विधायक हैं, जो भाजपा में शामिल हुए।

बंगाल के शहरी विकास मंत्री एवं कोलकाता के महापौर फिरहाद हाकिम ने कहा, “जब जहाज किसी तूफान से टकराता है तो सबसे पहले चूहे समुद्र में छलांग लगा देते हैं, बिना यह जाने कि उनका हश्र क्या होगा। यही इस समय हो रहा है। हमारा निश्चित मानना है कि जो लोग शामिल (भाजपा में) हो रहे हैं, उन्हें इसके लिए बाध्य किया गया है।”

पश्चिम बंगाल के संसदीय कार्य राज्य मंत्री तपस रॉय ने नेताओं के पार्टी छोड़ने को ‘मामूली संकट’ बताया। उन्होंने कहा, “लोकसभा में मत लोगों से जुड़े किसी मुद्दे पर नहीं पड़े। ध्रुवीकरण और चौकीदार मुद्दे थे। यह हमारी पार्टी के लिए मामूली संकट है। पार्टी इससे बड़े संकट पहले देख चुकी है। पार्टी जोरदार वापसी करेगी।”

तीन विधायकों के अलावा 60 पार्षदों के पाला बदलने से अब कांचरापाड़ा नगरपालिका, हालीसहर नगरपालिका और उत्तर 24 परगना जिले की नैहाटी नगरपालिका पर भाजपा का शासन है। तृणमूल के उत्तर 24 परगना के जिला अध्यक्ष और मंत्री ज्योतिप्रियो मलिक ने कहा कि पार्टी 2021 के विधानसभा चुनाव में जोरदार वापसी करेगी।