दहेज़ लिया तो नहीं पढ़ाया जायेगा निकाह

समाज में बढ़ती मांग के खिलाफ वजीरगंज ब्लॉक के लोगों और मौलानाओं ने मिलकर एक सराहनीय कदम उठाया है। इस ब्लॉक के तरवा गाँव में मुस्लिम समुदायों के युवाओं ग्रामीणों और मौलानाओं की बैठक सामाजिक कुरीतिओं को रोकने लिए हुइ। इस बैठक की अध्यक्षता मुफ़्ती मोहम्म्द मुज़फ्फर हुसैन मिस्बाही ने की ।

इस बैठक में ये फैसला लिया गया की अपने बेटे और बेटिओं की शादी में कोई शख्स न तो दहेज़ लगा और न ही देग। दहेज़ लेने वाले की शादी में कोई भी मौलाना निकाह नहीं पढ़ाएंगे और साथ ही समाज में उसका बहिष्कार भी होग।

बैठक में सबकी सलाह से दावत ए इस्लाह नामक कमेटी का गठन किया गया । बैठक में शादी के दौरान आतिशबाजी,बैंड बाजे, गान बजाना और दूसरे फ़िज़ूल खर्च न करने का फैसला लिया गया।

इस बैठक में मौजूद लोगों ने कहा की शादी में बढ़ती फ़िज़ूल खर्चों से समाज के गरीब आदमी पर अनावशयक बोझ बढ़ जाता है और वे क़र्ज़ में डूब जाते है ।

दहेज़ लेना और देना पूरी तरह इस्लामिक उसूलों के खिलाफ है। इस फैसले को लागू करने मौलानाओं ने भी भरपूर सहयोग देने का वादा किया है ।

कमेटी के लोगों ने कहा की शादी में आतिशबाजी बैंडबाजा और फ़िज़ूल खर्ची लोगों निकाह मौलाना नहीं पढ़ाएंगे । बैठक में वजीरगंज,फतेहपुर ,टनकुप्पा,और कई 95गाँव शामिल हुए ।

Source: 1livenews