नोटबंदी में काले धन को सफेद करने वाले सुनारों के डेढ़ सौ किलो सोने के जेवर जब्त

इंद्र वशिष्ठ, प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने हैदराबाद में कई सुनारों के यहां छापे मारकर करीब डेढ़ सौ किलो सोने के जेवरात जब्त किए हैं। जेेवरात का मूल्य 82.11 करोड़ रुपए हैं।

हैदराबाद में मैसर्स मुसद्दी लाल ज्वैलर के मालिक कैलाश गुप्ता के घर, दफ्तर और विजयवाड़ा के शोरूम , श्रीबालाजी गोल्ड के पार्टनर पवन अग्रवाल‌ के घर , मैसर्स आस्था लक्ष्मी गोल्ड के नील सुंदर और चार्टेड एकाउंटेंट संजय सारदा के यहां प्रर्वतन निदेशालय ने काले धन को सफेद करने के मामले में प्रिवेंशन ऑफ मनी लांड्रिंग एक्ट के तहत यह कार्रवाई की है। कुल 145.89 किलो सोने के जेवर जब्त किए गए हैं।

इन सुनारों ने नोटबंदी घोषित होते ही 110.85 करोड़ रुपए बैंक में जमा कराए थे। इसके लिए इन सुनारों ने 5200 ग्राहकों को जेवर बेचने के जाली बिल बनाए थे। हरेक बिल दो लाख से कम का बनाया ताकि पैन कार्ड नंबर न देना पड़े।

प्रवर्तन निदेशालय ने बताया कि कैलाश गुप्ता, उसके बेटों, उसकी कंपनियों मुसद्दी लाल जेम्स एंड ज्वेलरी, मुसद्दी लाल ज्वेलर, मैसर्स वैष्णवी बुलियन , कई अन्य बुलियन डीलरो, सीए और उनके करीबी रिश्तेदारों ने मिल कर नोट बंदी योजना का दुरुपयोग अपने काले धन को सफेद करने के लिए किया।

इन सुनारों ने आठ नवंबर 2016 की रात को नोटबंदी की घोषणा होने के कुछ ही घंटों के भीतर 5200 ग्राहकों को जेवर बेचने का दावा किया। जेवर बेचने के सभी बिल जाली पाए गए। 80 करोड़ रुपए आस्था लक्ष्मी गोल्ड और श्रीबालाजी गोल्ड समेत कई बुलियन डीलरो के खातों में तभी ट्रांसफर भी कर दिए गए थे।
प्रवर्तन निदेशालय ने इन सुनारों की दुकानों पर लगे सीसीटीवी फुटेज की भी जांच की और उनके पड़ोसियों से पूछताछ से भी इनकी पोल खुल गई।