सीबीआई जांच की मांग राजनीतिक मंशा पर आधारित

इलाहाबाद: उत्तर प्रदेश सरकार ने आज इलाहाबाद उच्च न्यायालय को बताया कि दादरी हत्या मामले में जांच कर‌ रही हैं। नोएडा के भाजपा नेता इस संबंध में दायर आवेदन राजनीतिक मंशा पर आधारित है। भाजपा नेता इस मामले में एक आरोपी हैं और उन्होंने सीबीआई जांच के आदेश देने की इच्छा करते हुए याचिका दायर की है।

राज्य सरकार ने संजीव सिंह की याचिका पर कल जवाबी हलफनामे दाखिल करते हुए निष्पक्ष जांच का दावा किया है। दरख़ास्त गुज़ार ने कहा कि पिछले साल सितंबर में मुहम्मद अख़लाक़ के घर पर कथित गोमांस मौजूद होने की अफवाह के आधार भीड़ के हमले घटना की स्वतंत्र और निष्पक्ष तरीके से जांच नहीं की गई हैं।

दरख़ास्त गुज़ार ने यह मामला सीबीआई के सुपुर्द करने की भी मांग की। उसने कहा कि केवल भाजपा से संबंध होने की वजह पुलिस ने राज्य में सत्तारूढ़ समाजवादी पार्टी के इशारे पर उसे मामले में गलत व्युत्पन्न है। हालांकि सरकार ने अतिरिक्त एडवोकेट जनरल इमरानुल्लाह द्वारा जवाबी हलफनामे दाखिल करते हुए कहा कि दरख़ास्त गुज़ार का तर्क गलत है।

स्थानीय पुलिस ने नैतिकता को पीटा द्वारा मौत की नींद सुलाने और उनकी युवा लड़के ज्ञान को बुरी तरह खींचने की घटना के बाद मउतरान्दाज़ में कार्रवाई की है। राज्य सरकार ने यह भी कहा कि घटना के बाद जिन लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई उनकी संख्या 30 से अधिक नहीं है। सरकार ने कहा कि दरख़ास्त गुज़ार ने सीबीआई जांच की मांग केवल राजनीतिक कारणों से किया है।

जस्टिस अजय और न्यायमूर्ति रघुवेनदर कुमार शामिल डिवीज़न बेंच ने इस मामले की अगली सुनवाई 4 मई निर्धारित की है और अनुरोध गुज़ार को सुधार दर्ज करने की अनुमति दे दी।