सुहाग के खातिर किडनी फरोख्त करने के लिए मजबूर ख्वातीन

नई दिल्ली ३० नवंबर: यूएई (UAE) की जेल में बंद अपने शौहरों की रिहाई के लिए इन ख्वातीनों ने अपनी किडनियां बेचने की इजाज़त हुकूमत से मांगी है। ये छह ख्वातीन आंध्र पदेश की हैं। ये ख्वातीन किडनी बेचकर जुटाए गयी रकम से जेल में बंद अपने अपने शौहर की रिहाई की कोशिश कर रही हैं।

इन ख्वातीनों का कहना है कि उनके शौहर UAE की एक कंसट्रक्‍शन कंपनी में काम करते थे। 2005 में नेपाली गार्ड मर्डर केस में उन्हें मुल्ज़िम बनाकर जेल में डाल दिया गया। इस मामले में इन लोगों के अलावा कुछ पाकिस्तानियों को 10 से 24 साल जेल की सजा सुनाई गई। ख्वातीनों का दावा है कि उनके शौहर बेगुनाह हैं। दुबई में इस मुकदमे की सुनवाई सही तरीके से नहीं हुई।

शरीयत कानून के मुताबिक मुतास्सिरा के रिश्तेदार ‘ब्लड मनी’ लेकर दूसरी पार्टी से समझौता कर सकते हैं। इसलिए ये ख्वातीन 15 लाख रुपए जुटाकर शौहर की रिहाई कराने की कोशिश में हैं।

इन ख्वातीनों ने बताया कि किसी ने भी उनकी मदद नहीं की। वे नहीं जानतीं कि इस कार्यवायी में कितना वक्त लगेगा। इसलिए वे अपनी किडनी बेचकर शौहरों की रिहाई कराना चाहती हैं।

माइग्रेंट राइट्स काउंसिल के नायब सदर भीम रेड्डी ने कहा कि ख्वातीनों ने स्टेट ह्यूमन राइट्स कमीशन से अपनी किडनियां बेचने की इज़ाजत तलब की हैं। हालांकि अभी तक उनको कोई जवाब नहीं मिला है। वाजेह है कि हिंदुस्तान में किडनी बेचना गैरकानूनी है।