आज़ाद मेम्बर एसेम्बली बंधु तिर्की की पेशगी जमानत की दरख्वास्त मुस्तर्द

झारखंड की हेमंत सोरेन हुकूमत को हिमायत दे रहे आज़ाद मेम्बर एसेम्बली रुक्न बंधू तिर्की की आमदनी से ज़्यादा जायदाद के मामले में पेशगी जमानत दरख्वास्त को आज खुसूसी सीबीआई अदालत ने यहां खारिज कर दिया। मर्कज़ी जांच ब्यूरो के खुसुसि जज आर के चौधरी ने आज झारखंड जनाधिकार मंच नामी तंज़िम के अकेले एसेम्बली रुक्न बंधू तिर्की की आमदनी से ज़्यादा साढ़े छह लाख रुपये की जायदाद के मामले में पेशगी जमानत दरख्वास्त खारिज कर दी।

इससे कबल 12 अगस्त को रांची की खुसुसि सीबीआई अदालत ने आमदनी से ज़्यादा जायदाद के इस मामले में आज़ाद एसेम्बली रुक्न बंधू तिर्की को एतेराफ़ के लिए एक महीने का अजाफ़ी वक़्त दे दिया था क्योंकि उन्होंने 12 अगस्त को अदालत में फिलहाल पेश होने में असमर्थता जतायी थी. इससे पहले अदालत ने उन्हें 12 अगस्त तक सरेंडर करने का वक़्त देते हुए उनके खिलाफ एक अगस्त को गैरजमानती वारंट जारी किया था।

अदालत ने सरेंडर करने के लिए एक महीने का वक़्त मांगने वाली उनकी दरख्वास्त को कबुल करते हुए उन्हें तेरह सितंबर तक का वक़्त दे दिया था। सीबीआई ने 2006 से 2008 के दरमियान मधु कोड़ा काबीना के रुक्न रहे बंधू तिर्की के खिलाफ आमदनी से ज़्यादा साढ़े छह लाख रुपये की जायदाद के मामले में अदालत में क्लोजर रिपोर्ट पेश करते हुए कहा था कि तिर्की के खिलाफ आमदनी से जायदाद के मामले में कोई पुख्ता सुबूत नहीं मिले हैं। जबकि अदालत ने एजेंसी की रिपोर्ट को खारिज करते हुए तिर्की को अदालत में पेश होने का हुक्म दिया था।