डाउस, २७ जनवरी ( पी टी आई) दुनिया में इस्लाम के बारे में सब से ज़्यादा गलतफहमियां पाई जाती हैं । वज़ीर-ए-ख़ारजा पाकिस्तान हिना रब्बानी खुर ने आज ये कहते हुए तस्लीम किया कि नावाक़िफ़ और ग़ैर ज़िम्मेदार अफ़राद को मज़हब अपने हाथों में लेने की इजाज़त दे दी गई है ।
उन्होंने कहा कि इन के ख़्याल के मुताबिक़ इस्लाम को दुनिया भर में सब से ज़्यादा ग़लत समझा जा रहा है और इस की ग़लत तस्वीर पेश की जा रही है ।
मिसाल के तौर पर इस्लाम एक ऐसा मज़हब है जो ख़वातीन के एहतेराम का हुक्म देता है लेकिन पूरी दुनिया को इस की ज़िम्मेदारी लेनी चाहिये क्योंकि हम ने इस्लाम की ग़लत तस्वीर पेश की है । वो जमहूरीयत के मौज़ू पर आलमी मआशी फ़ोर्म के एक मुबाहिसा में शिरकत कर रही थीं । उन्हों ने कहा कि इस्लाम दुनिया की बेहतरीन जमहूरीयतों की ताईद करता है और उन का मुल्क इस हक़ीक़त की आइन्दा बरसों में बेहतरीन मिसाल बन जाएगा ।
उन्होंने कहा कि अगर आप ये सवाल करें कि क्या इस्लाम जमहूरीयत की राह में रुकावट बनेगा या फिर इस के बरअक्स होगा तो वो कहना चाहेंगी कि इस्लाम बेहतरीन जमहूरीयतों की ताईद करता है । इस्लाम और जमहूरीयत मुतज़ाद ताक़तें नहीं हैं बल्कि इस के बरअक्स एक दूसरे की ताईदी क़ुव्वतें हैं ।
पाकिस्तान आइन्दा 10 साल में इस की बेहतरीन मिसाल बन जाएगा । हमें इस्लाम को समाज की बाक़ियात के हाथों से वापिस लेना होगा । हमने अनपढ़ और ग़ैर ज़िम्मादार अफ़राद के हाथों में इस्लाम दे दिया है । लेकिन आलिम मग़रिब का भी ये फ़र्ज़ है कि इख़तेलाफ़ात को समझे वो कई मौक़े पर इंतिहाई मुतास्सिर साबित हुए हैं।
जैसे कि फ़लस्तीन और कश्मीर के मुआमलात में इंतिहाई तास्सुब का मुज़ाहरा किया गया है । उन्हों ने कहा कि थोड़ी सी मेहनत से हालात दरुस्त हो सकते हैं । उन्होंने कहा कि आइन्दा दस साल में पाकिस्तान हक़ीक़ी जमहूरीयत की तस्वीर पेश करेगा।
उन्होंने बताया कि इस्लाम जमहूरीयत की ताईद करता है और इस मुआमला में कोई रुकावट नहीं है ।