नमाज़ ईद-उल-फ़ित्र की अदायगी से एन क़बल शर अंगेज़ी

ईद-उल-फ़ित्र के मौके पर ईदगाह की अराज़ी में ज़ाफ़रानी झंडा लहरा कर मुसलमानों को नमाज़ ईद अदा करने से रोक कर शर अंगेज़ी की कोशिश की गई।हलक़ा असेंबली मदहोल के मौज़ा अलवी में ईद-उल-फ़ित्र के दिन यहां के मुक़ामी मुसलमानों को कुछ शरपसंदों ने ईद की नमाज़ को रोक दिया और ईदगाह की अराज़ी हमारी है कहते हुए हंगामा शुरू कर दिया और देखते ही देखते सैंकड़ों अफ़राद जमा होगए।

एस आई को इस बात की इत्तेला मिलते ही इस मुक़ाम पर पहुंच कर ज़ाफ़रानी झंडा निकालने की कोशिश की जिस पर शरपसंदों ने एस आई का घेराऊ करलिया। जिस की इत्तेला हलक़ा असेंबली मदहोल में जंगल की आग की तरह फैल गई। मदहोल सर्किल इन्सपेक्टर रवींद्र रेड्डी, आर गरीधर डी एस पी भैंसा ने अलवी पहुंच कर हालात को क़ाबू में करलिया और मुतनाज़ा अराज़ी को अपने क़बजे में लेते हुए उस की इत्तेला तहसीलदार तानोर और ज़िला कलेक्टर को दी और हदबंदी करते हुए दोनों तबक़ात के अफ़राद को इस मुतनाज़ा अराज़ी पर जाने पर रोक लगादी गई।

तफ़सीलात के बमूजब मौज़ा अलवी से मुत्तसिल मुस्लिम क़ब्रिस्तान जिस का सर्वे नंबर 238 है जुमला अराज़ी 37 गनटे फैंसिंग की हुई।

ज़मीन क़दीम क़ब्रिस्तान के नाम से मौसूम है। इस के मशरिक़ में क़ब्रिस्तान और मग़रिब की तरफ् खुली अराज़ी पर ईदगाह का संग-ए-बुनियाद रखा गया लेकिन ये संग-ए-बुनियाद सियासी लोगों की नज़र में खटकने लगा और सियासी क़ाइदीन की तंगनज़री ने हिंदूओं और मुसलमानों में फूट डालने एक नाकाम कोशिश की। मुक़ामी मुसलमानों ने बताया कि ईदगाह की तामीर के लिए अराज़ी के सर्वे के लिए तहसीलदार तानोर से बारहा नुमाइंदगी के बावजूद तहसीलदार ने कोई कार्रवाई नहीं की जिस की वजह से मौज़ा अलवी में हालात कशीदा होगए।

बरवक़्त डी एस पी आर गरीधर की मुदाख़िलत से सूरत-ए-हाल क़ाबू में आगई। मौज़ा अलवी के मुसलमानों ने जी विट्ठल रेड्डी रुकन असेंबली मदहोल से भी नुमाइंदगी की। उन्होंने मुसलमानों को तीक़न दिया कि जल्द से जल्द इस मसले को हल करते हुए अराज़ी उन के हवाले की जाएगी। डी एस पी भैंसा ने बताया कि इस अराज़ी के अतराफ़ दफ़ा 144 नाफ़िज़ कर दिया गया। जहां पर पुलिस पिकेट को ताय्युनात कर दिया गया ताकि हालात को क़ाबू में रखा जा सके। मुसलमानों ने ईद की नमाज़ मुक़ामी मस्जिद में अदा करली।