पार्लियामेंट में गूंजेगा असहिष्णुता का मुद्दा

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“असहिष्णुता” का मुद्दा अब पार्लियामेंट में गूंजेगा, पीर के रोज़ रूल नंबर 193 में “असहिष्णुता” पे बहेस होगी. लोकसभा की स्पीकर सुमित्रा महाजन ने आज सीपीआई(एम) के नुमाइंदे पी.करुणाकरण और कांग्रेस के सांसद के. सी. वेणुगोपाल की अर्ज़ी को मान लिया.
इस रूल में वोटिंग नहीं होती है, इस मुद्दे पर बहेस पीर के रोज़ रखी गयी है.
“मुखालिफीन” नुमाइंदे कई दिनों से इस मुद्दे पर बहेस की मांग कर रहे थे. 25 नवम्बर को हुई सभी पार्टियों की मीटिंग में आमिर खान का असहिष्णुता पर दिया गया बयान “मुखालिफ़” ग्रुप ने पुरज़ोर तरह से रखा.
पार्लियामेंट्री अफेयर्स के वज़ीर एम. वेंकैय्या नायडू ने कहा कि हुकूमत हर मस’अले पर बहेस के लिए तय्यार है चाहे वो “बनावटी असहिष्णुता” ही क्यूँ न हो हालांकि ये सूबाई मसला है .
उन्होंने कहा “हुकूमत मुखालिफ़ीन के खद्शात को समझती है जो पिछले कुछ हफ़्तों में हुई हैं चाहे वो दादरी का हादसा हो या एम.एम. कलबुर्गी का क़त्ल. हुकूमत ने इन सभी की मज़म्मत की है, ये हमारे मुल्क की बुनियाद के खिलाफ़ हैं”
कंग्रेस के नायब सदर राहुल गाँधी ने साफ़ किया कि उनकी पार्टी असहिष्णुता का मुद्दा उठाने जा रही है क्यूंकि जो मुल्क में हो रहा है वो बहुत ही परेशान करने वाला है और उस पर वज़ीर ए आज़म “ख़ामोश” हैं
दादरी,बीफ और फिर्केवाराना बयानबाज़ी को लेके हुकूमत इस मुआमले पर पूरी तरह से घिरी हुई है