भटकल और अख़तर की एन आई ए तहवील में तौसीअ

दिल्ली की एक अदालत ने आज इंडियन मुजाहिदीन के मुआविन बानी यसीन भटकल और उनके क़रीबी बाएतिमाद साथी असदुल्लाह अख़तर की एन आई ए तहवील में 17 सितंबर तक तौसीअ करदी जबकि महिकमा ने दावे किया था कि ये दोनों एक ऐसी साज़िश में शामिल‌ हैं जिस की जड़ें गहराई तक पैवस्त हैं। उन्होंने हिन्दुस्तान में कई बम धमाके किए हैं।

एन आई ए की तरफ‌ से भटकल और अख़तर को ज़िला जज आई ऐस मोहित के इजलास पर सख़्त हिफ़ाज़ती इंतेज़ामात के बीच‌ उन की 12 दिन की तफतीशी तहवील के इख़तेताम पर पेश किया गया था। अदालत ने दोनों फ़रीक़ैन के मुबाहिस की समाअत के बाद दोनों की एन आई ए तहवील में 17 सितंबर तक तौसीअ करदी। अदालत ने एन आई ए की एक अलहदा दरख़ास्त को भी समाअत के लिए क़बूल कर लिया जिस में भटकल और अख़तर के डी एन ए नमूने और तहरीर के नमूने मज़ीद तहक़ीक़ात ,महफ़ूज़ करने और मुख़्तलिफ़ ज़ब्त शूदा मज़ामीन के साथ तक़ाबुल करने की दरख़ास्त की गई थी।

मुबाहिस के दौरान एन आई ए ने दोनों मुल्ज़िमीन को मज़ीद 15 दिन तक पुलिस तहवील में देने की गुज़ारिश करते हुए कहा कि हिरासत में भटकल और अख़तर से तफ़तीश के दौरान इन्किशाफ़ हुआ कि उन्होंने कई ई मेल और गपशप की शनाख़्त इस्तेमाल करते हुए अपने मुआवनों और कारकुनों से रब्त बरक़रार रखा था जो पाकिस्तान से सरगर्म हैं।

एन आई ए की दरख़ास्त की मुख़ालिफ़त करते हुए वुकला ऐम ऐस ख़ान और ऐस क़मर ने जो अली उल-तरतीब भटकल और अख़तर की पैरवी कररहे थे दलील पेश की कि मुल्ज़िमीन के मुबय्यना इन्किशाफ़ात एन आई ए की तफ़तीश के दौरान किए गए हैं और तहक़ीक़ाती महिकमे के साख़ता हैं। वुकला सफ़ाई ने दावे किया कि एन आई ए मुल्ज़िमीन को और दीगर अश्ख़ास को मुख़्तलिफ़ जाली मुक़द्दमात में फंसा रही है। तहवील में तौसीअ की दरख़ास्त करते हुए एन आई ए ने कहा कि मुवासलात के लिए दोनों ने खु़फ़ीया ज़बान और इशारों का इस्तेमाल किया है। जिसको समझना ज़रूरी है।