महाराष्ट्र में नए सरकारी मुलाज़िमीन के लिए पैंशन

मुंबई: महाराष्ट्र को दरपेश ज़बरदस्त क़र्ज़ बोझ पर क़ाबू पाने के लिए रियासती महिकमा फाइनेंस‌ ने आइन्दा 15 साल में दिए जानेवाले वज़ाइफ़ के बारे में अपने तख़मीने में सिफ़ारिश की है कि पैंशन स्कीम के तहत कोई भी नए इदारों या कैडरज़ का अहाताना किया जाये।

महिकमा की वाईट पेपर रिपोर्ट के मुताबिक़ रियासती सतह पर पैंशन स्कीम में इस्लाह की तजवीज़ 1995 से मारिज़-ए-इल्तिवा है। आख़िरी मर्तबा ये तजवीज़ 17 अक्टूबर 1995को रियासती काबीना के रूबरू पेश की गई थी, लेकिन उसे मंज़ूरी हासिल ना हुई।