मांझी का खुलासा : शरद ने कहा था, मैं इस्तीफा मांगूंगा तुम देना मत

पटना : साबिक़ वजीरे आला और हिंदुस्तानी अवाम मोरचा के क़ौमी सदर जीतन राम मांझी ने एक टीवी चैनल के प्रोग्राम में जदयू के क़ौमी सदर शरद यादव और वजीरे आला नीतीश कुमार के दरमियान उलझे सियासी रिश्ते पर सनसनीखेज खुलासा किया है।
उन्होंने कहा कि जब नीतीश ने उससे वजीरे आल ओहदे से इस्तीफा देने के लिए कहा था तब शरद यादव ने उनसे अकेले में कहा था कि वे इस्तीफा मांगेंगे लेकिन वह (जीतन राम मांझी) इस्तीफा नहीं दें। शरद ने कहा था कि उन पर नीतीश का दबाव है।

इसलिए वो इस्तीफा देने को कहेंगे, लेकिन इस्तीफा नहीं देना है। मांझी ने कहा कि वजीरे आला बनाने के लिए वो नीतीश के शुक्रगुजार थे, लेकिन यह एहसास तब खत्म हो गयी जब नीतीश कहने लगे कि मांझी को वजीरे आला बनाना उनकी सबसे बड़ी गलती थी। मांझी ने यह भी दावा किया की लालू प्रसाद ने उन्हें राजद में शामिल होने का ऑफर दिया था और कहा था कि वो और लालू बिहार में हेलीकॉप्टर से घूमेंगे और हुकूमत हासिल करेंगे। उन्होंने लोजपा सरबराह व मरकज़ी वज़ीर रामविलास पासवान पर भी चुटकी ली। उन्होंने रामविलास पासवान को ऐसा बड़ा दरख्त बताया जो ना तो छाया देती है अौर ना ही फल। साथ ही अपने को बरगद की तरह बताया और सभी को छाया देने की भी बात कही।

एनडीए के सीएम कैंडिडेट के सवाल पर मांझी ने कहा कि उन्होंने वजीरे आजम नरेंद्र मोदी से कह रखा है कि वो सीएम ओहदे के उम्मीदवार नहीं हैं, लेकिन कोई भूल-चूक से बना दे तो वो काम करने के लिए तैयार हैं। उन्होंने कहा कि जदयू की हुकूमत में भी वजीरे आला बनने के लिए वो नीतीश के पास दरख्वास्त लेकर नहीं गये थे, लेकिन नीतीश ने उन्हें सीएम बना दिया।