मुलायम-अखिलेश के मिलन में लालू ने निभाया अहम किरदार।

समाजवादी पार्टी में चल रही आंतरिक उथल पुथल को सही करने में जहाँ पर मध्य्स्ता आज़म खान ने की, वही बाप-बेटे के मिलन में बहुत हद तक लालू प्रसाद ने भी अहम भूमिका निभाई है और कुछ हद तक इस मिलाप का लालू प्रसाद को भी जाता है। लालू प्रसाद ने लगातार समधियाने से संपर्क बनाये रखा और दो बार खुद मुलायम और अखिलेश से बातें कीं। लालू ने उन्हें पार्टी और राज्य हित में आपसी सुलह करने की सलाह दी। पटना में पत्रकारों से बात करते हुए लालू ने कहा कि सुलह की खबर से सब को खुशी मिली है।

राजद प्रमुख ने मुलायम सिंह से कहा था कि पार्टी को खराब करने की मंशा रखने वालों से आपको दूर रहना चाहिए। लालू ने कहा कि अखिलेश और नेता जी के हाथ में समाजवादी पार्टी का भविष्य उज्जवल है। विवाद को गलतफहमी की उपज बताते हुए लालू ने कहा कि संवाद ही सुलह का मार्ग था। इसलिए मैंने दोनों से एक दूसरे से मिल बैठकर बात करने की गुजारिश की।

गौरतलब है कि यूपी में सपा के अंदर मची पारिवारिक कलह को समाप्त कराने की पहल शनिवार की सुबह शुरू हुई। लालू ने अखिलेश और मुलायम सिंह, दोनों से दो-दो बार फोन पर बात की।

लालू ने दोनों को समझाया कि पार्टी में एकता बड़ी चीज है। आपसी अहंकार छोड़ कर पिता-पुत्र दोनों को पार्टी के हित के लिए काम करें। लालू कहते हैं कि वे नहीं चाहते कि यूपी में सपा की फूट का फायदा भारतीय जनता पार्टी को मिले। इससे पहले भी शिवपाल यादव को लेकर उपजे विवाद को सुलझाने के लिए लालू ने पहल की थी।