लड़कीयों को हिजाब की इजाज़त की दरख़ास्त समाअत से सुप्रीम कोर्ट का इनकार

नई दिल्ली 25 जुलाई:सुप्रीम कोर्ट ने एक इस्लामी तंज़ीम की दरख़ास्त को समाअत के लिए क़बूल करने से इनकार कर दिया जिस में कहा गया थी कि मुस्लमान लड़कीयों को ऑल इंडिया प्रेरी मेडिकल एंट्रेंस टेस्ट में हिजाब इस्तेमाल करने की इजाज़त दी जाये।

ये टेस्ट कल होने वाला है। चीफ़ जस्टिस एच एल दत्तू की एक बेंच ने कहा कि अक़ीदा इस से क़तई मुख़्तलिफ़ हैके किस लिहाज़ के कपड़े पहने जाने चाहिऐं। अदालत ने कहा कि ऑल इंडिया प्रेरी मेडिकल एंट्रेंस टेस्ट दुबारा मुनाक़िद हो रहा है और इस सिलसिले में कुछ वाजिबी तहदीदात की ज़रूरत भी है।

सीनीयर वकील संजय हेगडे ने एस आई ओ की तरफ से अदालत में पेश होते हुए कहा कि सी बी एस ई ने ड्रेस कोड तैयार किया है वो इमतेहान हाल में दाख़िले के लिए लाज़िमी है और ये क़ाबिल-ए-क़बूल है सिवाए इसके के लड़कीयां सर पर स्कार्फ़ ( हिजाब ) नहीं पहन सकतीं।

एस आई ओ ने ये मफ़ाद-ए-आम्मा की दरख़ास्त दरर की है। दरख़ास्त में कहा गया हैके स्कार्फ़ का इस्तेमाल लाज़िमी मज़हबी अमल है और लड़कीयों को इमतेहान के लिए इसे तर्क करना पड़ेगा। इस बेंच में जस्टिस अरूण मिश्रा और जस्टिस अमित्वा राय भी शामिल थे।

अदालत के मूड को देखते हुए हेगडे ने इस दरख़ास्त से दसतबरदारी इख़तियार करने की ख़ाहिश ज़ाहिर की जिस की अदालत ने इजाज़त देदी। क़ब्लअज़ीं केराला हाइकोर्ट ने दो मुस्लिम लड़कीयों को इमतिहान में शिरकत के वक़्त हिजाब इस्तिमाल करने की मशरूत इजाज़त दी थी । ताहम अदालत ने सी बी एस ई के दिस कोड में मुदाख़िलत से करदियाथा ।