विवादों में महिला अधिकार कार्यकर्ता तृप्ति देसाई, पूर्व दलित साथी ने लगाया मारपीट और चोरी का आरोप

महिला अधिकार कार्यकर्ता तृप्ति देसाई विवादों में हैं । तृप्ति के खिलाफ उनके संगठन के एक पूर्व सदस्य ने मारपीट का आरोप लगाया है । जिसके बाद तृप्ति के खिलाफ़ दलित उत्पीड़न विरोधी कानून के तहत मामला दर्ज किया गया है।

शिकायतकर्ता करने वाले अहमदनगर के चिकित्सक विजय मकसारे ने आरोप लगाया है कि ‘भूमाता रणरागिनी ब्रिगेड’ की प्रमुख देसाई, उनके पति प्रशांत और दूसरे अन्य लोगों ने उनकी पिटाई की।

शिकायत में नामित अन्य लोगों में सतीश देसाई, कांतिलाल गवारे और दो अज्ञात व्यक्तियों शामिल हैं। मकसारे ने कहा कि कुछ महीने पहले तृप्ति ने उनसे संपर्क कर अपने संगठन में शामिल होने को आमंत्रित किया था जिसके बाद वह संगठन से जुड़ गए।

एक पुलिस अधिकारी ने बताया कहा तृप्ति देसाई, उनके पति और चार अन्य लोगों के खिलाफ अनुसूचित जाति एवं जनजाति (अत्याचार रोकथाम) कानून की विभिन्न धाराओं के तहत मामल दर्ज किया गया है।

हिंजवाड़ी पुलिस ने बताया कि 27 जून की सुबह विजय मकसारे अपनी कार से कहीं जा रहा था उसी दौरान तृप्ति देसाई और उनके पति प्रशांत देसाई, सतीश देसाई समेत 6 लोगों ने विजय की कार का रास्ता रोका और डंडे और रॉड से उसकी पिटाई करना शुरू कर दी । पुलिस को दी शिकायत में विजय ने बताया कि प्रशांत देसाई ने उनके गले से सोने की चेन खींच ली और उनके पास रखे 27 हजार रुपये भी लूट लिए।

विजय की मानें तो तृप्ति ने उसे धमकी भी दी। तृप्ति ने उससे कहा कि अगर उसने पुलिस में उसकी शिकायत की तो वो उसे झूठे केस में फंसा देगी। साथ ही तृप्ति ने विजय पर जातिसूचक टिप्पणी भी की। हालांकि, केस दर्ज होने के बाद तृप्ति देसाई इन आरोपों से इनकार कर रही है। उसने इसे अपने खिलाफ साजिश बताया।

तृप्ति अन्ना हजारे के इंडिया अगेंस्ट करप्शन आंदोलन से भी जुड़ी थीं। 19 दिंसबर को तृप्ति देसाई ने खुद शनि मंदिर में जाने की कोशिश लेकिन उन्हें धार्मिक विरोध का सामना करना पड़ा। इसके बाद 26 जनवरी 2016 को उन्होंने करीब 500 महिलाओं के साथ शनि मंदिर की परंपरा को तोड़ने का आंदोलन शुरू किया। 8 अप्रैल 2016 को शनि मंदिर ट्रस्ट ने तृप्ति देसाई को पूजा के लिए आमंत्रित किया।