गोरखपुर में नहीं थमा मौतों का सिलसिला, अगस्त में गईं 290 जानें

गोरखपुर। बाबा राघव दास मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल पीके सिंह ने कहा कि अगस्त के महीने में यहां कुल 290 बच्चों की मौत हुई है, जिनमें से 213 नवजात की मौत आईसीयू में और 77 बच्चों की मौत एन्सेफलाइटिस वार्ड में हुई।

प्रिंसिपल ने कहा कि अस्पताल में इस साल जनवरी से लेकर अब तक 1,250 मौतें हो चुकी हैं, जो कि एन्सेफलाइटिस, शिशु और बच्चों के वार्ड में हुई हैं। उन्होंने कहा कि 27 अगस्त और 28 अगस्त को 37 बच्चों की मौत हुई थी, जिनमें से 26 नवजात आईसीयू (एनआईसीयू) में मरे जबकि 11 की मौत एन्सेफलाइटिस वार्ड में हुई थी।

सिंह ने मौतों का आंकड़े बताते हुए कहा जनवरी में 152 बच्चों की मौत हुई थी, जिनमें एनआईसीयू में 143 और एन्सेफलाइटिस वार्ड में 9 मौतें हुई थीं। फरवरी में 122 मौतें (117 और 5) मार्च में 159 (141 और 18), अप्रैल में 123 (114 और 9), मई में 139 (127 और 12)  जून में 137 (125 और 12), जुलाई में 128 (95 और 33)।

प्रिंसिपल ने कहा कि प्रसव से पहले पैदा होने की वजह से बच्चों में अलग-अलग तरह की जटिलताएं और बीमारियां आ जाती हैं, जैसे- वजन का कम होना, पीलिया, निमोनिया, संक्रामक बीमारियां और इन्सेफलाइटिस के कारण अस्पताल में भर्ती कराया जाता है, जो कि ज्यादातर गंभीर स्थिति में होते हैं।

सिंह ने जोर देकर कहा, “अगर यहां रोगियों को पहले लाया जाए तो बहुत सारी जानें बचाई जा सकती हैं।”

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 12 अगस्त को (अस्पताल में हुई मौतों के एक दिन बाद) एक समिति का गठन किया था। राज्य सरकार ने मेडिकल एजुकेशन की अतिरिक्त मुख्य सचिव अनिता भटनागर जैन को भी अलग कर दिया था।