इस हिंदू महिला ने भी काली पट्टी बाँधकर मुसलमानों की हत्या के ख़िलाफ़ किया प्रोटेस्ट

पूरे देश में इस बार ईद के मौके पर मुस्लिम समुदाय के लोगों ने जश्न के साथ देश में अल्पसंख्यकों के लिए बढ़ रही हिंसा पर अपना विरोध दर्ज करवाया।
इस दौरान सोशल मीडिया पर मुस्लिम समुदाय के लोगों ने देशभर से तस्वीरें शेयर की। जिसमें उनके बाए हाथ पर काली पट्टी बंधी हुई दिखाई दे रही है।
मुस्लिम समुदाय के साथ हिन्दू लोगों ने भी इसका समर्थन किया। फेसबुक यूज़र नवेद चौधरी की वाल पर लिखे इस पोस्ट में उन्होंने एक हिन्दू महिला का जिक्र किया है जिन्होंने मुस्लिम समुदाय की मुहीम का समर्थन करते हुए खुद एप बाए हाथ पर काली पट्टी बाँधी हुई है।
इनका नाम कविता है और नवेद ने इनके जज्बे के बारे में लिखा है कि
यह ख़बर तपती ज़मीन पर बारिश की फुहार जैसी है.
कविता भाटिया फेसबुक की आभासी दुनिया में कुछ लोग अच्छे भी मिल जाते हैं उन्हीं में से एक हैं कविता हमेशा भाई बोलती हैं,बड़ी इज़्ज़त करती हैं.इनकी क्वालिटी यह है कि यह समाज में हो रहीं बुराइयों को बुरा कहने की ताक़त रखती हैं.वैसे तो हमारे मज़हब अलग हैं,लेकिन भाई बहन का रिश्ता शायद मज़हब की सीमा तक महदूद नहीं रहता..पिछले दिनों जब #काली पट्टी मुहिम सामने आई थी काफी हद तक अच्छा रेस्पॉन्स मिला केवल मुस्लिम ही नहीं हिन्दू भाइयों ने भी इस मुहिम को सराहा.इस ही कड़ी में कविता ने भी आज बताया कि “भाई हम भी आपके साथ हैं” और काली पट्टी बांधकर अपने भाईयो का साथ दिया..

ऐसे ही लोगो मे हिन्दोस्तान बस्ता है यही वह गंगा जमुनी तहज़ीब है जिसके लिए हम हिन्दोस्तानी जाने जाते है।। एक तरफ जहाँ हिन्दू मुसलमान के नाम पर नफ़रत की राजनीति हो रही हैं वही कविता जैसी बहनों को देखकर होंसला मिलता है और लगता है हम में प्यार और संस्कार बाक़ी है.यही तो संस्कार हैं हमारे की दूसरे की खुशी में खुशी मनाना और ग़म में ग़म वहीं विरोध में विरोध करना .
ज़िंदाबाद कविता बहन
इसके साथ उन्होंने कविता की एक तस्वीर भी पोस्ट की है। जिसमें आप उनके हाथ में काली पट्टी बंधे हुए देख सकते हैं:

https://www.facebook.com/permalink.php?story_fbid=144436969459316&id=100016790407863