मुख्तार अंसारी पर राजीनीतिक विरोध के कारण दर्ज हैं ज़्यादा तर मुक़दमे -मायावती

सपा और कांग्रेस में हुए गठबंधन के बाद आरएलडी और एमआइएम में गठबंधन की ख़बरें सामने आ रही थी। उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव है, चुनाव से ठीक पहले बाहुबली एवं मुस्लिम नेता मुख़्तार अंसारी समेत अंसारी परिवार को बसपा में शामिल कर मायावती ने दलित-मुस्लिम समीकरण को मज़बूत करने की दिशा में एक क़दम और आगे चल दिया है। ऐसे में दलित-मुस्लिम का गठजोर मायावती को कितना फ़ायेदा पहुँचा सकता है ये तो 11 मार्च को चुनाव परिणाम के रूप में सामने आएगा।

आपको बता दूँ कि बसपा सुप्रीमो मायावती ने आज पूर्वांचल के बाहुबली नेता मुख्तार अंसारी और उनके परिवार को बसपा में शामिल करते हुए कहा कि इन पर दर्ज ज़्यादा तर मुक़दमे राजीनीतिक विरोध के कारण दर्ज हैं और कृष्णानन्द रॉय हत्याकांड में शामिल होने का आज तक कोई साक्ष्य नहीं मिला है। मायावती ने कहा कि मुख्तार अंसारी को मऊ से टिकट दिया गया है। उनके भाई अब्बास अंसारी को घोसी से और बेटे सिबकतुल्ला अंसारी को गाज़ीपुर की मोहम्दाबाद से टिकट दिया गया है ।

हाई कोर्ट के रिटायर जज सभाजीत यादव ने भी बसपा की सदस्यता ली। कौमी एकता दल का बसपा में विलय की घोषणा अफ़ज़ाल अंसारी ने की। सपा ने हम लोगो के साथ धोखा दिया।अफ़ज़ाल अंसारी मुलायम ने हम लोगो से कहा था की अखिलेश मानसिक रूप से अल्पसंख्यक विरोधी है,अफजाल अंसारी। ये वादाखिलाफी करने वाले लोग को जनता में नंगा कर दूंगा।