रियाज अहमद का नाम लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड में दर्ज, लगातार 10 घंटों तक की बीट बाक्सिंग

बेंगलुरु: संगीत के लिए कई तरह के उपकरणों का उपयोग होता है. तबलेबाज़ तबले से, सारंगी बाज़ सारनगी से. हर संगीतकार कसी न किसी उपकरण से अपना कला का प्रदर्शन करता है, लेकिन बेंगलुरु में एक ऐसा कलाकार भी है, जो बिना किसी उपकरण पॉप म्यूज़िक का जादू बिखेर रहा है.

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प्रदेश 18 के अनुसार, बेंगलुरु का छात्र रियाज अहमद के अन्दर एक अलग क्षमता है. यह युवा किसी उपकरण से नहीं बल्कि मुंह से संगीत की धुन निकालने की कला जानता है. बीट बाक्सिंग यानी मुंह से संगीत व्यक्त करना. पश्चिम के कलाकारों को देख कर रियाज़ अहमद ने इस कला को सीखा है.
रियाज अहमद ने लगातार 10 घंटों तक बीट बाक्सिंग करते हुए अपना नाम लिम्का बुक ऑफ रिकॉर्ड में दर्ज कराया है. रियाज अहमद कहते हैं कि यह एक नया कला है, जो पश्चिमी देशों में लोकप्रिय हो रहा है.

गौरतलब है कि रियाज अहमद बी बी एम का छात्र है और पढ़ाई के साथ साथ पिछले पांच वर्षों से बीट बाक्सिंग का भी अभ्यास कर रहा है. उसके इस अनोखे कला को देखकर कोई भी व्यक्ति आश्चर्य व्यक्त किये बिना नहीं रहता.