सऊदी वज़ीरे ख़ारजा शहज़ादा सऊद अल फ़ैसल ने अरब अक़्वाम पर ज़ोर दिया है कि वो फ़लस्तीनीयों के ख़िलाफ़ इसराईली जारहीयत का तोड़ करने के लिए एक सफ़ में इकट्ठे हों।
उन्हों ने ग़ाज़ा की पट्टी पर इसराईली जारहीयत पर पूरी दुनिया को मुजरिमाना ख़ामूशी अख़्तियार करने पर तन्क़ीद का निशाना बनाया है। सऊदी वज़ीरे ख़ारजा जद्दा में इस्लामी तआवुन तंज़ीम (ओ आई सी) के हेड क्वाटर्रस में मुनाक़िदा एक वज़ारती इजलास में शरीक थे जिस में ग़ाज़ा की पट्टी में इसराईली फ़ौज की जारहीयत से पैदा होने वाली सूरते हाल पर ग़ौर किया गया है।
इजलास में शहज़ादा सऊद अल फ़ैसल ने कहा कि इसराईल का मक़सद फ़लस्तीनीयों के वजूद को ख़त्म करना है मगर सऊदी अरब फ़लस्तीनी काज़ को अपना बुनियादी काज़ समझता है।
उन्हों ने कहा कि इस्लामी ममालिक के दरमयान इख़्तिलाफ़ात ख़ाना जंगियों के मूजिब बन रहे हैं और इस से इसराईल को अपने जराइम के इरादे की शह मिल रही है।
उन्हों ने तमाम अरब ममालिक पर ज़ोर दिया कि वो जारहीयत रोकने की मिस्र की कोशिशों की हिमायत करें और दर्पेश चैलेंजेज़ का मुक़ाबला करने के लिए उठ खड़े हों। ग़ाज़ा पर इसराईली फ़ौज की 8 जुलाई के बाद जारहीयत के नतीजे में तक़रीबन 2 हज़ार फ़लस्तीनी शहीद हो चुके हैं।