आबनाए हुर्मुज़ की बंदिश नाक़ाबिल-ए-क़बूल : यूए ई, जापान

अब्बू ज़हबी। 12 जनवरी ( राईटर) मुत्तहदा अरब इमारात ने आबनाए हुर्मुज़ को एक अहम तिजारती रूट क़रार देते हुए कहा है कि इस की बंदिश से ना सिर्फ ख़ित्ता बल्कि योरपी दुनिया शदीद मुतास्सिर होगी और कोई भी मुल्क उस को क़बूल नहीं कर सकता। म्यू ए ई के वज़ीर-ए-ख़ारजा शेख़ अबद उल्लाह बिन ज़ाइद अलनहयान ने अपने जापानी हम मंसब को टीचरोगमबा के साथ मुशतर्का प्रैस कान्फ़्रैंस से ख़िताब करते हुए कहा कि

आबनाए हुर्मुज़ अरब ममालिक और दीगर दुनिया के दरमयान इंतिहाई अहम बहरी तिजारती गुज़रगाह है और इस की एहमीयत को कोई नज़रअंदाज नहीं कर सकता। इस बंदरगाह की बंदिश और इस के गिर्द-ओ-नवाह में किसी भी किस्म की कशीदगी अरब ख़ित्तेऔर दुनिया के किसी भी मुल्क के मुफ़ाद के ख़िलाफ़ होगी । अगर आबनाए हुर्मुज़ को बंद किया गया तो अरब से दुनिया केलिए जाने वाली एमरजैंसी स्पलाई शदीद मुतास्सिर होगी।

इस मौक़ा पर जापानी वज़ीर-ए-ख़ारजा ने कहा कि आबनाए हुर्मुज़ की बंदिश से मुताल्लिक़ ईरानी धमकी पर उन के मुल्क को शदीद तहफ़्फुज़ात हैं और हम इस सूरत-ए-हाल काबारीकी से जायज़ा ले रहे हैं। जापान इस मसले का सिफ़ारती ज़रीये से हल का ख़ाहां है। अमरीका को चाहिए कि वो ख़ित्ते में इस्तिहकाम केलिए इस अहम मसले को मुज़ाकरात और सिफ़ारत कारी के ज़रीये हल करे।