झारखंड इंतिख़ाब का जातीय फॉर्मूला : हर सीट बनी हॉट सीट

चाईबासा एसेम्बली हल्के में इश्तिहार गाड़ी दिनभर गांव-गांव चक्कर काट रहे हैं, तो शाम को शहरी इलाक़े में मुहिम शिफ्ट हो जा रहा है। वोटरों को लुभाने के लिए गाने सुनाए जा रहे हैं। जादू का खेल दिखाया जा रहा है। भारतीय जनता पार्टी मोदी फैक्टर से इंतिखाबी कैरेक्टर (गुजिशता फॉर्मूला को) बदलने की कोशिश में है। झारखंड मुक्ति मोरचा के इश्तिहार गाड़ी से 14 माह के मुद्दत में तरक़्क़ी की बातें बताई जा रही हैं। हिंदी व हो ज़ुबान में गाने भी सुनाए जा रहे हैं। हेमंत सोरेन व शिबू सोरेन का पैगाम सुनाया जा रहा है।

लोग इश्तिहार गाड़ियों से गीत सुनने के लिए थोड़ी देर रुकते हैं। फिर खिसक जाते हैं। जादू का खेल भी जरिया बना है। आर्टिस्ट बाहर से आए हैं। खेल दिखाने के दौरान वे भाजपा व झामुमो का इश्तिहार करते हैं और उम्मीदवारों के हिमायत में वोटिंग की अपील कर रहे हैं। चाईबासा सीट पर साबिक़ दाखला वज़ीर दाखला सेक्रेटरी जेबी तुबिद इंतिख़ाब लड़ रहे हैं। इससे इंतिखाबी माहौल और गर्म हो गया है।
चाईबासा एसेम्बली हल्के की ज्योग्राफी हालत अजीब है। करीब ढाई किलोमीटर शहरी इलाक़े के बाद से देही इलाका शुरू होता है। एसेम्बली हल्के का एक हिस्सा नक्सल मुतासीर माना जाता है। मुफ्फसिल थाना इलाक़े के पांडावीर, बरकेला व पेटापेटी गांव जंगल से सटे हैं। माना जाता है कि सारंडा से निकलकर नक्सली इस इलाके में ठ्हरते हैं। सारंडा से सटे गांवों में नक्सलियों का खौफ है। गांव का कोई भी सख्श उनके खिलाफ मुंह नहीं खोलता है।

चाईबासा इंतिखाबी मैदान में तीन नए चेहरे

चाईबासा एसेम्बली हल्के में तीन नए चेहरे इंतिखाबी मैदान में हैं। भारतीय जनता पार्टी से साबिक़ दख्ल सेक्रेटरी जेबी तुबिद, कांग्रेस से अशोक सुंडी और झारखंड विकास मोर्चा से गीता सुंडी। भारतीय जनता पार्टी और झारखंड मुक्ति मोरचा के एमएलए दीपक बिरूवा के दरमियान छिड़ी रेस में कांग्रेस और झारखंड विकास मोर्चा के उम्मीदवार भी कड़ी टक्कर दे रहे हैं। शहरी और देही इलाकों में पार्टियों का इश्तिहार मुहिम उरोज पर है।