तेलंगाना पर तश्कील वुजराओं (जीओएम)की मंगल के रोज़ हुई बैठक में अलैहदा रियासत के मसौदा बिल और रिपोर्ट को आखिरी शक्ल नही दिया जा सका। वज़ीर ए दाखिला सुशील कुमार शिंदे की सदारत में आज बुध के रोज़ एक बार फिर वुजराओं की बैठक बुलाई गई है। इसके बाद रिपोर्ट यूनियन कैबिनेट को सौंपी जाएगी।
बैठक के बाद शिंदे ने कहा, ‘इस पर तवील बहस हुई। हमने सोचा कि रिपोर्ट को आखिरी शक्ल दे दी जाएगी लेकिन बातचीत अहम है। हम बुध की शाम 8:00 बजे फिर से बैठक करेंगे।’ उन्होंने कहा कि मिनीस्टर्स आंध्र प्रदेश के बंटवारे पर जल्द से जल्द पार्लियामेंट में बिल पेश करने की कोशिश में हैं। लेकिन कई मसले अभी सुलझाने बाकी हैं।
मंगल के रोज़ बैठक में तेलंगाना और बकिया आंध्र प्रदेश दोनों ही रियासतों को आइन (Constitution) के आर्टीकल 371-डी के तहत खुसूसी रियासत का दर्जा देने और रायलसीमा के दो जिलों को तेलंगाना में शामिल करने की तजवीज से जुड़े मुद्दों पर तफसील से बहस हुई। हालांकि, रिपोर्ट और मसौदा बिल को आखिरी शक्ल देने का अमल पूरा नहीं हो सका।
शिंदे की सदारत में हुई बैठक में मरकज़ी हेल्थ मिनिस्टर गुलाम नबी आजाद, फायनेंस मिनिस्टर पी चिदंबरम, डीफेंस मिनिस्तर एके एंटनी, कौमी सलामती केसलाहकार शिवशंकर मेनन और मरकज़ के होम सेक्रेटरी अनिल गोस्वामी मौजूद थे। वजारों की बैठक खत्म होने के कुछ देर बाद तक्सीम का खुलकर एहतिजाज कर रहे इंसानी वसाएल के तरक्कियाती वज़ीर एम पल्लम राजू की कियादत में एक वफद ने वज़ीर ए दाखिला शिंदे से मुलाकात की और अपना मौकूफ रखा।