मग़रिबी एशियाई ममालिक में तबदीलया मुसबत

5 बैंगलौर 16 फरव‌री (पी टी आई) नायाब सदर हामिद अंसारी ने कहा कि कुछ मग़रिबी एशियाई ममालिक में नई हुकूमतों से हिंदूस्तानी बाहमी राबिता पर मनफ़ी असर मुरत्तिब नहीं होगा. बल्कि सख़्त मईशत और जुग़राफ़ियाई और सियासी मुफ़ादात की वजह से हम आहंगी पर मबनी लिंक यक़ीनी होंगे।

हामिद अंसारी ने एशिया सैंटर सालाना लैक्चर से ख़िताब करते हुए कहा कि हमारे क़ौमी मुफ़ादात पर कुछ मसाइल के अलावा कल राय तरह तरह की है जिस से इन ममालिक में जहां इक़तिदार तबदीली है हमारे बाहमी राबिता पर ज़्यादा मनफ़ी असर नहीं होगा. इस के बरअक्स सख़्त मईशत और जौग़राफ़ियाई और सियासी मुफ़ादात हम आहंगी पर मबनी राबिता को यक़ीनी बनाएंगे।

इस लैक्चर का उनवान मशरिक़-ए-वुसता में क्या हो सकता है रखा गया था. नायाब सदर ने कहा कि आख़िर मे जो तबदीली हो हैं, आर्ट और मुसबत तरह हैं जिन का ख़ैर मक़दम किया जाना चाहीए. मुस्लिम मुआशरे में जो तबदीली आई है वो सिर्फ़ निज़ाम हुकूमत के ख़िलाफ़ आवाज़ उठाने के लिए है।

हामिद अंसारी ने कहा कि नौजवानों में बढ़ती हुई बेरोज़गारी और घरेलू आमदनी में काबुल-ए-ज़िकर कमी एक अन्न मुतास्सिरा ममालिक में समाजी बदअमनी की अक़्वाम वजह है. आलमी बैंक सितंबर 2012 मे जारी एक रिपोर्ट में तजज़िया पेश किया गया था कि मौजूदा सियासी तबदीली तब बामक़सद होंगी जब ठोस समाजी और इक़तिसादी तरक़्क़ी को यक़ीनी बनाया जाये।