शहर के मुख़्तलिफ़ मुक़ामात पर जो रेहन सेंटर हैं इन में गरीब मुसलमान बिना किसी ख़ौफ़-ओ-ख़तर के ज़ेवरात रेहन रखाते हैं लेकिन उन्हें ये पता नहीं कि इन ज़ेवरात की हिफ़ाज़त की कोई गारंटी नहीं इस लिये कि रेहन सेंटर के मालेकीन ये ज़ेवरात अपने घरों में ले जाकर रखते हैं जब कि बेशतर रेहन सेंटर मालकीन राजिस्थान से ताल्लुक़ रखते हैं।
अगर कोई ज़ेवरात लेकर रातों रात फ़रार होजाए तो इस का पता तक नहीं लगाया जा सकता क्यों कि यहां तो इस का मकान दुकान किराया पर होती है । हाल ही में शमसाबाद में एक रेहन सेंटर का मालिक जो राजिस्थान से ताल्लुक़ रखता था ज़रूरतमंद लोगों के रखाए गए ज़ेवरात लेकर फ़रार होगया।
भंवरलाल चौधरी नामी सूदखोर का कहना है कि हमारे पास जो ज़ेवरात रेहन रखे जाते हैं उन की हिफ़ाज़त की कोई ज़मानत नहीं । इन सब के ब्यानात हमारे वीडियो कैमरा में कैद हैं।