इसराईल के साबिक़ वज़ीरे आज़म एहूद ओलमर्ट को बदउनवानी के एक मुक़द्दमा में धोका दही और एतेमाद शिकनी का मुर्तक़िब पाया गया हालाँकि इस मुआमले में उन्हें तीन साल पहले ही बरी किया जा चुका है।
दरीं अस्ना ओलमर्ट के वुकला ने कहा कि येरूशलम डिस्ट्रिक्ट कोर्ट की जानिब से सादिर किए गए फ़ैसला को वो चैलेंज करेंगे। यहां इस बात का तज़किरा भी ज़रूरी है कि ओलमर्ट को 2012 में अमरीकी ताजिर मोरिस तिलानसकी की जानिब से बड़ी रक़ूमात पर मुश्तमिल लिफाफे क़ुबूल किए जाने का क़सूरवार पाया गया था और ये उस वक़्त की बात है जब ओलमर्ट येरूशलम के मेयर और एक काबीनी वज़ीर थे।
ताहम उन्हें बरी कर दिया गया था। इस वाक़िया के बाद ही मौसूफ़ वज़ीरे आज़म के ओहदा पर फ़ाइज़ हुए थे। उस वक़्त जब उन्हें बरी किया गया था तो उसे ओलमर्ट की जीत से ताबीर किया गया था।