ईस्लामाबाद । 14 अक्टूबर । ( पी टी आई ) पाकिस्तान ने हिंदूस्तान को पसंदीदा तरीन मौक़िफ़ मंज़ूर करने से उसूली तौर पर इत्तिफ़ाक़ करलिया है । वज़ीर उमूर ख़ारिजा पाकिस्तान हिना रब्बानी खुर ने ये बात बताई । उन्हों ने हिंदूस्तान और पाकिस्तान के माबैन बाहमी रवाबित मैं इस्तिहकाम की कई मिसालें पेश की। हिना रब्बानी खुर ने क़ौमी असैंबली में वक़्फ़ा-ए-सवालात के दौरान कहा कि पाकिस्तान ने अपने पड़ोसी मुलक हिंदूस्तान को पसंदीदा तरीन मौक़िफ़ की फ़राहमी से उसूली तौर पर इत्तिफ़ाक़ किया है ताहम उन्हों ने इस फ़ैसले को क़तईयत दिए जाने की तफ़सीलात का इन्किशाफ़ नहीं किया । हिंदूस्तान ने पाकिस्तान को 1996 मैं पसंदीदा तरीन मुलक का मौक़िफ़ दिया था। पाकिस्तान के वज़ीर कॉमर्स मख़दूम अमीन फ़हीम ने गुज़श्ता माह आला सतही तिजारती वफ़द के हमराह हिंदूस्तान का दौरा किया था । उन्हों ने मुंबई में कहा था कि इन का मुलक हिंदूस्तान को पसंदीदा तरीन मौक़िफ़ फ़राहम करने के ताल्लुक़ से काफ़ी मुसबत राय रखता है । हिना रब्बानी खुर ने बताया कि हिंदूस्तान और पाकिस्तान के दरमयान मुज़ाकरात तक़रीबन दो साल के वक़फ़ा के बाद दुबारा शुरू हुए हैं। हम चाहते हैं कि किसी एक मौज़ू पर नहीं बल्कि मुख़्तलिफ़ उमोर पर पेशरफ़त होती रहे और तमाम मसाइल को मुस्तक़िल तौर पर हल किया जाय जिस से मजमूई तौर पर बाहमी ताल्लुक़ात को बहाल करने में मदद मिलेगी। पाकिस्तान की अव्वलीन तर्जीह ये है कि हिंदूस्तान के साथ बुला रुकावट मुज़ाकरात यक़ीनी बनाए जाएं ताकि सब से अहम मसला-ए-कश्मीर की यकसूई भी यक़ीनी होसके । उन्हों ने कहाकि जहां तक हिंदूस्तान के साथ रवाबित का ताल्लुक़ है अब तक हमें कई कामयाबियां हासिल हुई हैं। हिंदूस्तान के साथ तिजारत के लिए बुनियाद मुस्तहकम की गई । तारीख़ में पहली मर्तबा पाकिस्तानी वज़ीर-ए-ख़ारजा के न्यूयार्क में दिए गए इस्तिक़बालीया में हिंदूस्तानी वज़ीर-ए-ख़ारजा ने शिरकत की । एक सवाल के जवाब में हिना रब्बानी खुर ने कहा कि हम हिंदूस्तान के साथ बेहतर रवाबित के ख़ाहां हैं लेकिन मसला-ए-कश्मीर पर उसोली मौक़िफ़ भी बरक़रार है कि उसे कश्मीरी अवाम की ख़ाहिश के मुताबिक़ हल किया जाए।