हैदराबाद को तीन साल तक उबूरी दारुल हुकूमत बनाने का मुतालिबा

तेलंगाना के यूनीवर्सिटी टीचर्स फ़ोरम ने आज कहा कि हैदराबाद को दस साल के लिए दो रियासतों का मुशतर्का दार रुल हुकूमत बनाने की बजाय तीन साल के अर्सा के लिए उबूरी दारुल हुकूमत बनाया जाना चाहीए।

प्रोफेसर विष्णु वर्धन रेड्डी की क़ियादत में प्रोफेसर लक्ष्मण प्रोफेसर शैव शंकर डी मनोहर राव‌ और दूसरों ने जो मुख़्तलिफ़ तनज़ीमों से ताल्लुक़ रखते हैं कहा कि हैदराबाद को दस साल तक दारुल हुकूमत बनाने का फैसला मुनासिब नहीं है।

उन्होंने इस सिलसिले में चन्दीगढ़ की मिसाल पेश की । हाल ही में तेलंगाना जय ए सी ने भी दस साल की बजाय तीन साल तक मुशतर्का दार रुल हुकूमत बनाने की वकालत की थी।

यूनीवर्सिटी टीचर्स फ़ोरम ने कहा कि पोलावरम प्रॉजेक्ट को भी तामीर करने की इजाज़त नहीं दी जानी चाहीए क्यूंकि उसकी तामीर से क़बाइली आबादी को नुक़्सान होगा।

डी मनोहर राव‌ ने कहा कि उबूरी मुद्दत में सीमांध्र अवाम को दफ़ातिर से काम करने की इजाज़त तो दी जानी चाहीए लेकिन उन्हें किसी तरह का इख़तियार नहीं मिलना चाहीए।

तमाम तरह के इख़्तियारात तेलंगाना की हुकूमत के पास होने चाहिऐं। प्रोफेसर लक्ष्मण ने कहा कि हैदराबाद को मुशतर्का दारुल हुकूमत की बजाये उबूरी दार‍ रुल हुकूमत बनाने की ज़रूरत है क्यूंकि मुशतर्का दार रुल हुकूमत की सूरत में सीमांध्र अवाम हैदराबाद के असासाजात पर अपने इख़्तयारात का इद्दिआ करसकते हैं।