हैदराबाद 28 फरवरी (सियासत न्यूज़) जेनरल सेक्रेट्री रियासती तेलुगु देशम अक़लीयती सेल और साबिक़ सदर नशीन उर्दू अकेडमी मुहम्मद रहीमुल्लाह ख़ान नियाज़ी ने कहा कि रियासत में महकमा अक़लीयती बहबूद के इदारे लावारिस इदारों में तबदील हो गए हैं।
उन्हों ने कहा कि 2004 से आज तक कांग्रेस हुकूमत ने अक़लीयतों बिलख़ुसूस मुसलमानों की तरक़्क़ी और बहबूद के लिए अमली इक़दामात नहीं किए। हर साल जो भी अक़लीयती बजट मंज़ूर किया गया, उसे कभी मुकम्मल तौर पर जारी नहीं किया गया।
लिहाज़ा ये कहना ग़लत नहीं होगा कि कांग्रेस हुकूमत ने मुसलमानों को धोका दिया है। उन्हों ने कहा कि मनज़ूरा अक़लीयती बजट मुकम्मल जारी ना करने की वजह से अक़लीयती इदारों की कारकर्दगी ठप होकर रह गई है।
गुज़िश्ता साल अक़लीयती मालीयाती कारपोरेशन में 56 करोड़ रुपये का ग़बन मंज़रे आम पर आया। मुसलमान बाशऊर हैं, दोस्त और दुश्मन को पहचानते हैं।
कांग्रेस की उलटी गिनती शुरू हो चुकी है, 2014 के आम इंतिख़ाबात में तेलुगु देशम पार्टी भारी अक्सरीयत से कामयाबी हासिल करेगी और अक़लीयती डिक्लेरेशन पर मुकम्मल अमल आवरी होगी।