मगरिबी अफगानिस्तान के हेरात में कल सुबह अमेरीकी कौंसिल खाने के बाहर एक धमाका हुआ है। यह हमला तालिबान ने किया है। तालिबान ने बीबीसी को बताया है कि एक खुदकुश हमलावर ने कार में सवार होकर ये धमाके किए और इसके बाद दूसरे लड़ाकों ने इमारत पर हमला बोल दिया।
बागियों और सेक्युरिटी फोर्स के बीच हुई गोलीबारी में अफगान पुलिस अहलकारों और एक मुकामी सेक्युरिटी अहलकार की मौत हो गई है, हालांकि सिफारतखाने के सभी शख्स महफूज़ हैं। हमले में ख्वातीन और बच्चे समेत कुल 17 शहरी ज़ख्मी हुए हैं।
अफगान फौज के एक तर्जुमान ने बताया कि धमाके से अमेरीकी कौंसिल के बाहरी सेक्युरिटी घेरे को नुकसान पहुंचा। इसकी वजह से हमलावर अहाते के अंदर दाखिल करने में कामयाब हो गए और सिफारतखाने की इमारत की ओर गोलियाँ दागने लगे।
नाटो की अगुवाई वाले बैनुल अकवामी मदद फोर्स (आईएसएएफ) ने ट्वीट किया है कि कौंसिल महफूज़ है और “सभी दुश्मनों को मार दिया गया है।”
ट्वीट में बताया गया है कि मौके पर आईएसएएफ और अफगान कौमी सेक्युरिटी फोर्स के जवान मौजूद हैं।
बीबीसी के डेविड लॉयन ने काबुल से बताया कि यह हमला अमेरीका पर हुए 9/11 हमले की बरसी को ध्यान में रखते हुए किया गया है। इससे मालूम होता है कि 9/11 के 12 साल बाद भी बागी अफ़ग़ानिस्तान में गड़बड़ी फैलाने की ताकत रखते हैं।
हेरात में सेक्युरिटी फोर्स और बागियों के बीच गोलीबारी में दो अफगान फौजी मारे गए।
बीबीसी ने बताया कि हमले में दो अफगान पुलिस और एक मुकामी सेक्युरिटी अहलकार की मौत हुई है, जबकि ख्वातीन और बच्चों समेत कुल 17 शहरी ज़ख़्मी हुए हैं।
हेरात ईरान की सरहद के करीब है और यह इलाका हाल के दिनों में आमतौर से पुरअमन रहा है।
इस महीने की शुरुआत में तालिबान ने मशरिकी अफगानिस्तान के तोरखम में अमेरीकी कैंप पर हमला किया था। लंबे अर्से तक चली इस गोलीबारी के वाकिया में तीन बागियों की मौत हो गई थी।
————–बशुक्रिया: अमर उजाला