अमेरिका: संसद में मुस्लिम महिलाओं का पहुंचना बड़ी उपलब्धि, ट्रम्प के लिए मुश्किल का दौर शुरू!

अमरीका के मध्यावधि चुनाव में इस बार इतिहास बना है। दो मुस्लिम महिलाओं ने पहली बार विजयी होकर कांग्रेस में अपनी जगह बनाई है। डेमोक्रेटिक पार्टी की इल्हान उमर और राशिदा तालिब ने इन चुनावों में जीत हासिल की है।

दोनों मुस्लिम महिलाओं का अमरीकी संसद के लिए चुना जाना इसलिए महत्वपूर्ण है क्योंकि राष्ट्रपति ट्रंप के कार्यकाल के दौरान उनकी नीतियां प्रवासियों और मुसलमानों के हक में नहीं मानी जाती हैं।

अमरीका में हुए मध्यावधि चुनावों में इस बार कई रिकॉर्ड बने। एक तो इन चुनावों में पहली बार बड़ी संख्या में मतदाता वोट डालने के लिए निकले। दूसरा किसी राष्ट्रपति को सीनेट में बहुत मिला। तीसरी और सबसे अनोखी उपलब्धि यह रही कि दो मुस्लिम महिलाओं को कांग्रेस के लिए चुना गया है।

इल्हान उमर ने मिन्नेसोटा की पांचवी कांग्रेसनल डिस्ट्रिक से और राशिदा तालिब ने मिशीगन की 13 वीं कांग्रेसनल डिस्ट्रिक सीट से जीत हासिल की है। ये दोनों महिलाएं कांग्रेस के लिए चुनी गई हैं।

बता दें कि अमरीका के इतिहास में यह पहली बार हुआ है। इल्हान उमर मुस्लिम होने के साथ ही एक शरणार्थी महिला हैं। वह पहली सोमाली अमेरिकी महिला हैं जो कांग्रेस में पहुंचेंगी।

इल्हान उमर सभी के लिए मेडिकल सुविधा, आपराधिक मामलों में सुधार, न्यूनतम मज़दूरी के लिए आवाज उठाने के लिए जानी जाती हैं। मध्यावधि चुनाव में उमर ने रिपब्लिकन उम्मीदवार जेनिफर ज़ाइलिंस्की को शिकस्त दी है।

टाइम पत्र के मुताबिक़ उम्र 12 साल की में बतौर शरणार्थी अमरीका आई थीं। राशिदा तालिब भी इल्हान उमर की तरह प्रवासी हैं। 42 साल की राशिदा के पिता आरसे पहले फिलिस्तीन से आकर अमरीका में बस गए। तालिब ने डेमोक्रेट ब्रेंडा जॉन्स को प्रारंभिक चुनावों में हराकर चुनाव के लिए अपनी दावेदारी पुख्ता कर ली थी।

उमर और राशिदा के बाद अमरीकी कांग्रेस में मुसलमान समुदाय से जुड़े लोगों की संख्या बढ़कर चार हो जाएगी। बता दें कि अलावा दो अन्य मुसलमान पुरूष पहले से ही कांग्रेस में हैं।

कांग्रेस में मुस्लिम समुदाय की महिलाओं के चुने जाने को बड़े राजनीतिक परिवर्तन के रूप में देखा जा रहा है। बता दें कि बीते कुछ समय से ऐसा माना जा रहा है कि अमरीका में मुस्लिमों और प्रवासियों के लिए यह समय ठीक नहीं है। इस बात की झलक ट्रंप के मुस्लिम और प्रवासी विरोधी बयानों में भी मिलती रही है।