अरब देशों से ना उम्मीद दुनिया के मुस्लिमों का एर्दोगन पर भरोसा, दिल में बसने लगे हैं!

तुर्की के राष्ट्रपति रेसेप तय्यिप एर्दोगान ने राष्ट्रपति चुनाव के पहले दौर में ही जीत हासिल कर ली है। देश में चुनाव करवाने वाली संस्था के प्रमुख ने यह जानकारी दी है।

एर्दोगान की ऐतिहासिक जीत से सिर्फ तुर्की ही खुश नहीं हा बल्कि दुनिया के ज़्यादातर देशों ने भी एर्दोगान की जीत का जश्न मनाया। सबसे ज़्यादा ख़ुशी मुस्लिम देशों को हुयी है। क्योंकि एर्दोगान वक़्त-वक़्त पर मुस्लिम जगत के लिए खड़े होते दिखाई दिए है।

जानकारी के मुताबिक, पाकिस्तानी मीडिया का कहना है कि एर्दोगान जितने ज्यादा मजबूत होंगे, दुनिया में मुसलमानों का आवाज उतनी बुलंद होगी। एर्दोगान मुसलमानों के हक में खड़े रहते है नज़र आ आते है।

फलिस्तीन मुद्दे पर एर्दोगान हमेशा इजराइल और अमेरिका को चेतावनी देते आये है और अपना पूर्ण समर्थन फिलिस्तीनियों के लिए ज़ाहिर करते है।

एर्दोगान की इन सभी बातों ने उन्हें सिर्फ़ तुर्की का चहेता ही बल्कि दुनिया के कई देशों का मुस्लिम लीडर घोषित किया है। आज दुनिया के साभ मुस्लिम देशों के तुर्की के साथ अच्छे सम्बन्ध है।

पकिस्तान के उर्दू अखबार जंग के मुताबिक, एर्दोगान एक ऐसे नेता के तौर पर उभर रहे हैं जिन्हें मुस्लिम जगत की समस्याओं की पूरी जानकारी है और इनसे वह सरोकार भी रखते हैं इसीलिए तुर्की के चुनाव पर ना सिर्फ पाकिस्तान बल्कि पूरी दुनिया और खास कर मुस्लिम दुनिया की नजरें टिकी थीं।

अखबार लिखता है कि राष्ट्रपति एर्दोगान ने अपने देश को न सिर्फ बदतरीन आर्थिक तंगी से निकाला है, बल्कि शिक्षा, विज्ञान और टेक्नोलॉजी समेत जीवन के सभी क्षेत्रों में तरक्की पर भरपूर तवज्जो दी है।

एर्दोगान ने खुद इस ऐतिहासिक जीत के बारें में तुर्की की जनता को बताया। तुर्की में राष्ट्रपति और संसदीय चुनाव एकसाथ हुए हैं इसलिए इस बार के चुनाव को काफी ऐतिहासिक और अहम माना गया और अंतिम नतीजे शुक्रवार को घोषित किए जाएंगे।