नेशनल इंवेस्टीगेशन एजेंसी (एनआइए) के अफसरों की टीम इतवार को रांची पहुंची। टीम झारखंड में सरगरम मऊनवाज़ों और बागियों और नक्सल तक गैर मुल्की असलाह सप्लाई करनेवाले सप्लायरों को तलाश रही है। टीम को शक है कि सप्लायरों का इंटरनेशनल लिंक है।
पुलिस ज़राये के मुताबिक अरगोड़ा पुलिस ने साल 2010 में दो असलाह सप्लायरों को गिरफ्तार किया था। उनके पास से भारी महज़ में गोलियां बरामद की गयी थी। जांच में पता चला कि गोलियां नक्सली कमांडर कुंदन पाहन के साथी प्रसादजी तक पहुंचाना था, लेकिन इससे पहले पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार कर लिया। हालांकि जांच में यह जानकारी नहीं मिली कि सप्लायर तक गोलियां कहां से पहुंची।
सदर थाना की पुलिस की ने साल 2010 में जुमार पुल के पास से ग्रेनेड लांचर के साथ असलाह तस्करों को गिरफ्तार किया था। पकड़े गये तमाम मुल्ज़िम बिहार के थे। वे पीएलएफआइ के दिनेश गोप को ग्रेनेड लांचर देने जा रहे थे। इसमें भी असलाह सप्लायरों के गैर मुल्की नेटवर्क होने की बात सामने आयी थी। पुलिस ज़राये की मानें, तो दोनों मामलों में असलाह सप्लायरों के गैर मुल्की लिंक होने की बात सामने आने पर केस के अनुसंधान की जिम्मेवारी एनआइए को दी गयी। इसी की जांच के सिलसिले में एनआइए की टीम रांची पहुंची।