पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आइएसआइ माओवादियों से साठगांठ में जुटी है। इससे मुतल्लिक़ जानकारियां पहले भी आ रही थीं, लेकिन अब इस पर मुहर लग गयी है। हाल में बिहार के एक जिले में कई सेक्युर्टी एजेंसियों के अफसरों की बैठक हुई, जिसमें यह मुद्दा छाया रहा। बैठक में कहा गया कि आइएसआइ की तरफ से बिहार में माओवादियों से राब्ता कायम करने का काम अख्तर अंसारी नाम के सख्श को सौंपा गया है, जिसने अपना काम शुरू कर दिया। उसने माओवादी लीडरो से एक बार बातचीत भी की है। माओवादियों की मदद से आइएसआइ बिहार में किसी बड़ी वारदात को अंजाम दे सकता है।
बैठक में आला अफसरों ने माओवादियों की सरगरमियों को लेकर भी बात की। साथ ही बिहार के मुखतलिफ़ जिलों की पुलिस को अलर्ट कर दिया गया है। उन इलाकों में खास निगरानी रखने को कहा गया है, जिनमें माओवादी ज्यादा सरगर्म हैं। पुलिस की तरफ से माओवादी लीडरों की मुखबिरी भी करायी जा रही है। इसको लेकर भी बैठक में चर्चा हुई है।
बताया जाता है कि खुफिया एजेंसियों ने यह जानकारी भी दी है कि आइएसआइ की तरफ से माओवादियों को जदीद असलाह देने की पेशकश की गयी है। असलाह की खेप की डिलेवरी बिहार के किसी जिले में होने की बात कही गयी है। इसके लिए लड़कियों की मदद लिये जाने की बात भी सामने आयी है।
आला अफसरों की बैठक में माओवादियों की तरफ से तंजीम को मजबूत बनाने की कोशिशों पर भी बात हुई। बैठक में इस बात की जानकारी भी दी गयी कि 15 दिन पहले 18 से 21 साल के दरमियान की एक दर्जन लड़कियों व तीन नौजवानों को तंजीम से जोड़ा गया है। इन्हें अभी तर्बियत किया जा रहा है। बैठक में कहा गया कि ये लड़कियों व नौजवानों को दूर-दराज के इलाके में तंजीम बढ़ाने की जिम्मेवारी दी जायेगी। इनकी मॉनीटरिंग की जिम्मेदारी हार्डकोर नक्सली लालबाबू सहनी उर्फ भाष्कर को दी गयी है।