आजम ने कल्बे जव्वाद को बताया आरएसएस का एजेंट

यूपी के कैबिनेट मिनिस्टर आजम खां ने फिर शिया रहनुमा कल्बे जव्वाद पर निशाना लगाते हुए उन्हें आरएसएस का एजेंट बताया है। आजम ने कहा कि, वह शिया वक्फ बोर्ड के इलेक्शन को टालने के लिये दर ‍दर भटक रहे हैं। अगर 14 शिया मेम्बरान को अपनाने में कामयाब हो जाते तो नाक कटने से बच सकती थी। आजम खान ने पीर को जारी बयान में कहा कि, शिया वक्फ बोर्ड की वैलिडिटी एक नवंबर तक है।

इलेक्शन उसी वक्त टल सकता है जब मरकज़ी कानून में बदलाव करा लिया जाए। जिला इंतेज़ामिया ने 27 मेम्बरों से खौफजदा होकर व चंद अनासिर की धमकी में आकर जो कमजोर पैगाम दिया है, उससे करोड़ों लोग सकते में हैं। उन्होंने रहनुमा ( कल्बे जव्वाद) को सलाह दी कि अपने बुजुर्गो की शानदार तारीख को पारा-पारा न करें।

लोकसभा इंतेखाबात के दौरान शिया मज़हब के रहनुमा के भाजपा की ताईद में दिए तकरीर पर सवाल उठाते हुए कहा कि ऐसे ख्यालात किसी मज़हबी रहनुमा के हो सकते हैं? सलाह दी कि मज़हबी रहनुमा फासिस्ट ताकतों को उकसाने व केसरियाई आकाओं को खुश करने का काम न करें, बल्कि दीन के लिए काम करें।

वक्फ प्रापर्टी के मामले पर अक्लीयती बहबूद के वज़ीर आजम खां व शिया रहनुमा मौलाना कल्बे जवाद के बीच टकराव जारी है। आजम के आए दिन के बयानों से शिया फिर्के में सपा हुकूमत के खिलाफ नाराजगी बढ़ रही है। आजम खां के बयान पर मौलाना कल्बे जवाद ने जवाब में कहा है कि आजम खां ने सिर्फ शिया ही नहीं बल्कि सुन्नी उलमा के खिलाफ भी मुसलसल जहर उगलने का काम किया है। मौलाना ने 23 अगस्त को दारुल हुकूमत में रैली का ऐलान किया।

इस रैली में सभी मज़हब के लोग शामिल होंगे। वहीं, आजम खां की बयानबाजी के खिलाफ रुस्तम नगर वाके दरगाह हजरत अक्बास में एक जलसा हुआ। कई शिया अंजुमन के आला ओहदेदारो ने कल्बे जवाद के खिलाफ बयान बंद न होने पर सड़कों पर उतरने का इंतेबाह दिया।