आरुषि केस: महत्वपूर्ण गवाह की संदिग्ध मौत

नई दिल्ली: आरुषि-हेमराज मर्डर केस में एक प्रमुख गवाह की मौत को लेकर तमाम तरह के सवाल खड़े हो रहे हैं.
20 सितंबर की रात गाजियाबाद के मसूरी इलाके में एक बेकाबू ट्रक पुलिस पिकेट में जा घुसा था. इस हादसे में तीन पुलिसवालों की मौत हो गई थी. इन पुलिसवालों में से एक इस केस के प्रमुख गवाह और पहले इनवेस्टीगेशन ऑफिसर जगबीर सिंह मलिक थे.

नेश्नल हाइवे 24 पर बने इस पिकेट में सात पुलिसवाले थे जिनमें से तीन की मौके पर ही मौत हो गई थी जबकि चार घायल हो गए थे. ट्रक चालक प्रदीप को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया था.

इस पूरे प्रकरण के बीच आज शाम तक नूपुर तलवार को जमानत पर रिहा किए जाने की उम्मीद है. सुप्रीम कोर्ट से 17 सितंबर को ही नूपुर को जमानत मिल गई थी.

आरुषि की हत्या के बाद मलिक को इस केस का जांच अधिकारी बनाया गया था और उन्होंने हत्या के करीब एक हफ्ते बाद आरुषि का कम्प्यूटर जब्त किया था. उन्होंने ये कंप्यूटर इस केस में राजेश तलवार की संलिप्तता स्थापित करने के लिए जब्त किया था.

सीबीआई ने अदालत को बताया कि इस केस के गवाह सब-इंस्पेक्टर की ट्रक से कुचले जाले के कारण मौत हो गई है. आज जगबीर का बयान दर्ज किया जाना था.