वज़ीर ए आज़म नरेंद्र मोदी का जुमे के रोज़ जम्मू कश्मीर का दौरा सियासी तौर पर मुश्किल मानी जा रही है, क्योंकि उनका यह दौरा ऐसे वक्त में हो रहा है जब आर्टिकल 370 को हटाए जाने की मांग को लेकर मुतनाज़ा बढ़ गया है। हलफ बरदारी के बाद पहली बार जम्मू एवं कश्मीर के दौरे पर पहुंचने वाले मोदी तरक्की व सेक्युरिटी के मुताल्लिक प्रोग्रामो को लेकर मशरूफ रहेंगे।
मोदी तकरीबन मुल्क के पहले वज़ीर ए आज़म हैं जिनका सियासी तौर पर अलैहदगी पसंद और नेशनल कांफ्रेंस (एनसी) दोनों ने एहतिजाज किया है।
कश्मीर के अलैहदगी पसंद लीडरों सैयद अली गिलानी, मीरवाइज उमर फारूक, मुहम्मद यासीन मलिक और शबीर अहमद शाह ने जुमे के रोज़ बंद का ऐलान किया है। गिलानी ने पहले पुर अमन मुज़ाहिरा का ऐलान किया था लेकिन बाद में पूरी वादी में बंद का ऐलान किया। उन्होंने कहा कि मोदी का बतौर एक शख्स एहतिजाज नहीं किया जा रहा, बल्कि यह एहतिजाज मुल्क के उस वज़ीर ए आज़म का है जिसने कश्मीर को अपने ताबे कर लिया है।
अलैहदगी पसंदो की तरफ से रद्दे अमल प्रतिक्रिया लाजमी था, लेकिन पीएम उमर अब्दुल्ला ने भी नई दिल्ली के कश्मीर को लेकर नुक्ते नज़र की तन्कीद की है। उन्होंने मंगल के रोज़ जम्मू के रामबन जिले में दिए बयान में कहा कि कश्मीर मसले का हल माली पैकेज से नहीं किया जा सकता।
उमर ने रियासत को खुसूसी दर्जा देने वाले आर्टिकल 370 को हटाए जाने को लेकर तनाज़ा पैदा करने वालों को आगाह किया है।
उमर ने मरकज़ को इशारा देते हुए कहा, “”मैंने हमेशा और जोरदार तरीके से यह दिखया है कि जम्मू व कश्मीर को दिगर रियासतों के बराबर नहीं किया जा सकता।”” उन्होंने कहा, “”हमें दौलत की ताकत से नहीं धमकाया जा सकता। हमने माज़ी में चुनौतियों का सामना किया है और मुस्तकबिल में भी ऐसा करेंगे।”” मोदी की परेशानी न सिर्फ अलैहदगी पसंदो का एहतिजाज और सेक्युरिटी के मुताल्लिक की चुनौतियां हैं। उन्हें भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की सियासी फिक्र पर भी ध्यान देना होगा, जो कि वादी की पांच विधानसभा सीटों को जीतने का ख्वाब देख रही है।
इसका मतलब है कि आइंदा विधानसभा इंतेखाबात मेंं पार्टी वादी की कम से कम पांच सीट जीतना चाहेगी। 87 रुकनी असेम्बली में भाजपा के 11 रुकन हैं। इधर, हुकूमत के एक ज़राये ने बताया, “”मोदी कटरा से उधमपुर के 25 किलोमीटर रेल मार्ग का इफ्तेताह करेंगे। पाकिस्तान और चीन की सरहद के सेक्युरिटी जायजा लेंगे और श्रीनगर में बैठक करेंगे, सरहदी शहर ऊरी में 240 मेगावाट के पनबिजली प्रोजेक्ट की शुरूआत करेंगे और इसी दिन दिल्ली वापस लौट जाएंगे।””