इराक बोहरान से हिन्दुस्तानी हुकूमत की फिक्र बढ़ी

इराक में तेल के इलाकों में जारी तशद्दुद और दहशतगर्दों के कब्जे के पैदा बोहरान ने हिन्दुस्तानी हुकूमत की फिक्र बढ़ा दी हैं। इराक की वजह से बैनुल अ़क़वामी बाजार में कच्चे तेल की कीमतों में आए उछाल और इसके आगे और बढ़ने के शुबे से मुल्क पर माली घाटा बढ़ने का खतरा मंडराने लगा है।

इराक में दहशतगर्दों के हमले तेज होने और तेल इलाकों पर उनके कब्जे के बाद वहां तेल की पैदावार में कमी आई है जिससे बैनुल अ़क़वामी बाजार में कच्चे तेल की कीमत 115 डॉलर फी बैरल के पार पहुंच गई है। इसमें लगातार तीन दिनों से तेजी बनी हुई है। ज़राए का कहना है कि इराक मसले को लेकर तेल के बढ़ते दाम और वहां से सप्लाई ने हुकूमत की फिक्र बढ़ा दी है। हिन्दुस्तान अपनी जरूरत के 79 फीसद तेल की बरामद करता है। पिछले साल में 19 करोड़ टन तेल की बरामद की गयी थी, जिसका 13 फीसद इराक से आया था।

हालांकि अब तक इराक से हिन्दुस्तान की तेल सप्लाई पर असर नहीं हुआ है। इसका एक कारण यह भी है कि हमलावरों ने शुमाली और मग़रिबी हिस्सों पर कब्जा किया हुआ है जबकि ज्यादातर तेल की पैदावार जुनूबी हिस्से में होती है। लेकिन अमेरिकी सदर बराक ओबामा की वज्ह से यल आग मुल्क के दूसरे हिस्सों मेव भी फैल सकती है।