इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने ईरान को लेकर कड़े सन्देश दिया है। नेतन्याहू ने ईरान की आक्रामकता को रोकने के लिए अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और विदेश मंत्री माइक पोंपियो की बाहर सूत्री योजना के संदर्भ में इनके मजबूत नेतृत्व की काफी सराहना की है। उन्होंने कहा, “मैं आपसे विश्वास से कह सकता हूं कि मैंने जो प्रशंसा अभी व्यक्त की है, उसे मध्य पूर्व के कई देश भी साझा करते हैं।
इसके साथ ही प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने कहा कि वह और उनका देश ‘ईरान की आक्रामकता’ को रोकने को लेकर दृढ़ है. उन्होंने तेल-नोफ वायु अड्डे पर वायुसेना कमांडरों के अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन के दूसरे दिन यह बात कही।
जानकारी के अनुसार नेतन्याहू ने कहा, हम ईरान को सीरिया में सैन्य अड्डे स्थापित नहीं करने देंगे और न ही परमाणु हथियार विकसित करने देंगे। उन्होंने कहा, इजरायली वायु सैन्य बल इस नीति को लागू करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं और यह पिछले कई सालों से लगातार और प्रभावी ढंग से किया जा रहा है।
इसी कड़ी में प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने आगे कहा था कि ‘ईरान ने लक्ष्मण रेखा पार कर ली’’ है। इजरायली सेना और रक्षा मंत्री अवीगदोर लिबरमैन ने दावा किया कि रात भर चला संघर्ष ईरान की सैन्य क्षमताओं के लिए करारा झटका है। यह ईरान और इजरायल की सेना के बीच हुआ अभी तक का सबसे बड़ा हमला है। इससे पहले ऐसा कोई हमला नहीं हुआ था।