उर्दू काउंसिल के उपाध्यक्ष मुजफ्फर हुसैन का इस्तीफा

नई दिल्ली : नेशनल काउंसिल फॉर प्रमोशन ऑफ उर्दू काउंसिल के उपाध्यक्ष मुजफ्फर हुसैन ने अपने कार्यकाल के बीचोबीच इस्तीफा दे दिया है. वे मुंबई में रहते हैं और हृदय रोग से पीड़ित हैं. उन्हें अपने काम के सिलसिले में हमेशा दिल्ली आना-जान पड़ता है. उन्होंने इसके बाबत कई बार मंत्रालय को भी लिखा लेकिन मंत्रालय ने कहा कि उपाध्यक्ष को ऐसी कोई सुविधाएं नहीं दी जा सकती. इन्हीं दिक्कतों की वजह से उन्होंने इस्तीफा दे दिया.

गौरतलब है कि मुजफ्फर हुसैन आरएसएस द्वारा बनाए गए मुस्लिम राष्ट्रीय मंच के संस्थापक सदस्य रहे हैं. उन्हें साल 2014 के दिसंबर माह में 3 वर्षों के लिए यह जिम्मेदारी दी गई थी. उन्होंने 2 माह पहले इस पद से इस्तीफा दे दिया. मानव संसाधन मंत्रालय ने उनका इस्तीफा स्वीकार कर लिया है.

नेशनल काउंसिल फॉर प्रमोशन ऑफ उर्दू काउंसिल (NCPUL) मानव संसाधन मंत्रालय के अंतर्गत स्थापित एक स्वायत्त संस्थान के तौर पर जाना जाता है. देश के भीतर उर्दू के प्रचार-प्रसार में इसकी निर्णायक भूमिका है.

मुजफ्फर हुसैन के इस्तीफे पर मानव संसाधन मंत्री प्रकाश जावड़ेकर का कोई कमेंट नहीं आया. हालांकि मंत्रालय के एक सूत्र का कहना है कि उप-चेयरमैन के इस्तीफे के पीछे हृदयविकार बड़ी वजह है. वे कहते हैं कि यह एक मानद पद है और वे उनके द्वारा मांगी गई सुविधाओं को पूरा नहीं कर सकते थे. वे इसमें कुछ भी खास कर पाने में असमर्थ थे.