उड़ी हमले के तुरंत बाद पीओके में कार्रवाई करना चाहती थी सेना, मोदी सरकार ने इसकी इजाजत नहीं दी: मायावती

उड़ी हमले के तुरंत बाद पीओके में कार्रवाई करना चाहती थी सेना, मोदी सरकार ने इसकी इजाजत नहीं दी: मायावती

लखनऊ। बसपा सुप्रीमो मायावती को उड़ी के सैनिक बेस कैंप पर आतंकी हमले के काफी दिनों बाद सर्जिकल स्ट्राइक करना पसंद नहीं आया। उनका कहना है कि आतंकी हमले के तुरंत बाद सैन्य कार्रवाई होनी चाहिए थी। मगर मोदी सरकार ने इसकी इजाजत नहीं दी।
उन्होंने नियंत्रण रेखा के पार हमले की सफलता के लिए भारतीय सेना को बधाई दी है। इसके साथ यह भी कहा कि सरकार को पठानकोट हमले के फौरन बाद कार्रवाई करनी चाहिए थी। मायावती ने अपने एक बयान में कहा कि सेना ने अपने देश के लोगों से किया वायदा निभाया है। इसके लिए सेना बधाई की पात्र है, मगर नरेन्द्र मोदी की सरकार ने इसकी अनुमति देने में काफी देर लगा दी।
उन्होंने कहा कि अगर पठानकोट आतंकी हमले के बाद ऐसी त्वरित कार्रवाई की गई होती तो उड़ी की दुखद घटना से बचा जा सकता था। 19 सैनिकों की जान भी बच जाती। मायावती ने कहा कि भाजपा और मोदी सरकार के लिए यह ना तो जश्न मनाने का समय है और ना ही इस बारे में राजनीतिक और चुनावी लाभ लेने का प्रयास करना चाहिए।क्योंकि वर्तमान घटनाक्रम के बाद देश के समक्ष चुनौतियां बढ़ गई हैं। देश के साथ नागरिकों की सुरक्षा के लिए काफी सावधान रहना जरूरी है। उन्होंने कहा कि भारत को पाकिस्तान सहित सभी अंतरराष्ट्रीय सीमाओं को मजबूत बनाने की ओर ध्यान देना चाहिए। वर्तमान सरकार ने अपने ढाई साल के कार्यकाल में इस ओर कम ध्यान दिया। इस कारण देश में आतंकी घुसपैठ बढ़ी है। उन्होंने भाजपा अध्यक्ष अमित शाह के उस बयान को जल्दबाजी और राजनीति से प्रेरित बताया, जिसमें शाह ने कहा है कि नये भारत का उदय हुआ है। मायावती ने कहा कि ऐसी शाबाशी लेने की नादानी भाजपा एंड कंपनी कर रही है।