मोदी हुकूमत पार्लियामेंट के आइन्दा सरमाई इजलास में एक हज़ार से ज़्यादा क़वानीन को मंसूख़ करनेवाली है जो या तो ज़ेर-ए-इस्तेमाल हैं या फिर फ़र्सूदा होचुके हैं। ये बात मर्कज़ी वज़ीर बराए क़ानून रवी शंकर प्रसाद ने कही। मर्कज़ी वज़ीर-ए-क़ानून के मुताबिक़ हुकूमत ने 287 ऐसे पुराने क़वानीन की निशानदेही की है जिन्हें मंसूख़ किया जा सकता है।
उन्होंने कहा कि मज़कूरा फ़र्सूदा क़वानीन को मंसूख़ या तबदील करने के बारे में मुख़्तलिफ़ महिकमों को मर्कज़ पहले ही मकतूब रवाना करके राय तलब करचुका है। उन्होंने कहा कि 12 सितंबर को ला कमीशन की तरफ़ से पेश करदा रिपोर्ट पर भी हुकूमत कार्रवाई कररही है। कमीशन ने 72 ऐसे क़वानीन की निशानदेही की है जिन्हें फ़ौरी मंसूख़ करने ज़रूरत है। हुकूमत ने 36 फ़र्सूदा क़वानीन को मंसूख़ करने के मक़सद से पार्लियामेंट के गुज़िश्ता इजलास में तंसीख़ और तरमीमी बिल 2014 पेश किया था हालाँकि ये बिल अब तक ज़ेर-ए-ग़ौर है।