वज़ीर-ए-दिफ़ा चीन जनरल यांग के दौरे पर जवाबी ख़ैरसिगाली दौरा
नई दिल्ली 5 जुलाई (एजैंसीज़) वज़ीर-ए-दिफ़ा ए के अनटोनी एक आला सतही वफ़द की क़ियादत करते हुए चीन रवाना होगए। वज़ारत-ए-दिफ़ा का क़लमदान सँभालने के बाद और मशरिक़ी लद्दाख में सफ़ आराई के दो माह बाद ये उनका अव्वलीन दौरा-ए-चीन है। हिन्दुस्तानी वज़ीर-ए-दिफ़ा ने 2006 से चीन का दौरा नहीं किया।
2006 में उस वक़्त के वज़ीर-ए-दिफ़ा प्रणब मुखर्जी चीन के दौरे पर गए थे। चीन के तीन रोज़ा सरकारी दौरे में इमकान है कि ए के अनटोनी सब से पहले शंघाई पहूंचेंगे। 5 जुलाई को बीजिंग में बातचीत में शिरकत करेंगे और चीनगड़ो फ़ौजी इलाक़ाई कमान जुनूब मग़रिबी चीन का दौरा करेंगे।
इमकान है कि उनकी मुलाक़ात वज़ीर-ए-आज़म चीन ली के खियाइंग से भी होगी। उनके वफ़द में मुअत्तल दिफ़ा आर के माथुर, मशरिक़ी फ़ौजी कमांडर लेफ़टननट जनरल बलबीर सिंह सुहाग, जुनूबी बहरीया के कमांडर वाइस एडमीरल डी सोनी शामिल हैं। अनटोनी का दौरा इत्तिफ़ाक़ से वज़ीर-ए-आज़म पाकिस्तान नवाज़ शरीफ़ के दौरा-ए-चीन से हम आहंग होगया है। अनटोनी का दौरा गुज़िश्ता साल वज़ीर-ए-दिफ़ा चीन जनरल लियांग गोवाइंग ली के दौरा-ए-हिंद का जवाबी ख़ैरसिगाली दौरा है।
वज़ीर-ए-दिफ़ा चीन ने 8 साल के वक़फ़ा के बाद हिन्दुस्तान का दौरा किया था। हालाँकि मौजूदा दौरे में किसी मुआहिदे पर दस्तख़त की तवक़्क़ो नहीं है लेकिन तवक़्क़ो है कि दोनों ममालिक सरहदी दिफ़ाई तआवुन मुआहिदे पर सौदेबाज़ी के सिलसिले को आगे बढ़ाईंगे। चीन ने गुज़िश्ता साल सरहद पर सयानत बेहतर बनाने के लिए । एक नया निज़ाम तजवीज़ किया था।
इस नए निज़ाम के कई पहलूओं पर दोनों ममालिक ने खासतौर पर 28 ता 29 जून सरहदी मुज़ाकरात के दौरान तफ़सील से तबादला-ए-ख़्याल किया है। दोनों ममालिक मौजूदा निज़ाम को मज़ीद मुस्तहकम करना चाहते हैं। सरहदी सयानत मुआहिदा एक वसीअ तर इक़दाम होगा लेकिन दोनों ममालिक को इसके मतन पर मज़ीद बहुत कुछ ग़ौर करना है।
मुशीर क़ौमी सलामती शिव शंकर मेनन ने इनफ़रास्ट्रक्चर को सरहद पर बेहतर बनाने का तय्याक़ून दिया।