वाशिंगटन
सदर अमरीका बारक ओबामा ने मुस्लिम क़ाइदीन से मुलाक़ात की और कई मसाइल पर तबादला-ए-ख़्याल किया जिस में ख़ौफ़नाक दौलते इस्लामिया और उस की होलनाक दहशतगर्दी की कारसतानियां शामिल थीं। सदर अमरीका ने दौलते इस्लामिया और दीगर ग्रुपस का मुक़ाबला करने में तसलसुल की एहमियत पर ज़ोर दिया और कहा कि इस्लाम के नाम पर ये लोग होलनाक पर तशद्दुद हरकात का इर्तिकाब कररहे हैं।
उन्होंने मुस्लिम अमरीकीयों की अमरीका केलिए ख़िदमात का तज़किरा करते हुए बातचीत में शरीक अफ़राद की हौसलाअफ़्ज़ाई की कि वो अपनी वाबस्तगी में साबित क़दम रहें। उन्होंने कहा कि ऐसे तबादले ख़्याल के इजलासों से मज़ीद मवाक़े हासिल होंगे जिन के हम मुंतज़िर हैं।
ओबामा ने शरीक अफ़राद की कारकर्दगी की सताइश की और कहा कि कई अहम मसाइल पर उन्होंने अपने नक़ात नज़र पेश किए हैं। उन्होंने कहा कि मुख़्तलिफ़ फ़िरक़ों के साथ बाक़ायदा तबादले ख़्याल से उन्हें काबुल-ए-क़दर मालूमात और बसीरत हासिल हुई है। वाईट हाउज़ से जारी करदा एक बयान में कहा गया कि कई अंदरून-ए-मुल्क मसाइल पर हुकूमत और मुस्लिम फ़िर्क़ा के दरमियान तआवुन पर बातचीत की गई।
मुस्लिम दुश्मन तशद्दुद और तास्सुब भी बातचीत का मौज़ू थे। ओबामा ने एक बार फिर तौसीक़ की कि इंतेज़ामीया शहरी हुक़ूक़ के तहफ़्फ़ुज़ का और नफ़रतअंगेज़ जराइम पर मुक़द्दमा और ज़रूरी कार्रवाई करने पाबंद है ।