कानपूर- रेहान हत्याकांड के मामले में कोर्ट ने डीजीपी से किए सवाल

रेहान हत्याकांड का फर्जी खुलासा करने वाले विवेचक बुरे फंस गए हैं। एसएसपी ने कोर्ट को जानकारी दी है कि जांच में विवेचक दोषी पाए गए हैं और उनके खिलाफ कार्रवाई होगी। जज ने कार्रवाई के लिए डीजीपी से भी आख्या मांगी है। मामले में फर्जी फंसाए गए आरोपी की ओर से कोर्ट में अवमानना प्रकीर्णवाद भी दायर किया गया है।
किदवईनगर निवासी रेहान की 20 अगस्त 2016 को हत्या हुई थी। विवेचक तत्कालीन थाना प्रभारी हरिशंकर मिश्रा ने सात दिन बाद नामजद रिपोर्ट दर्ज कर जय प्रताप सिंह उर्फ मोहित को गिरफ्तार किया था। पुलिस ने आलाकत्ल चाकू गंगा बैराज से बरामद किया। कोर्ट में पेश किए गए दो छात्रों की गवाही भी न ठहर सकी। छात्रों ने न्यायालय में जानकारी दी कि उससे पुलिस ने कभी बयान ही नहीं लिए। उन्हें इस मामले में कोई जानकारी ही नहीं है।
मोहित को किया गया था बरी
बचाव पक्ष के अधिवक्ता नागेंद्र सिंह गौतम का कहना है कि यहां तक कोर्ट में आलाकत्ल के संबंध में हाजिर गए गोताखोर तक ने जानकारी दी कि उन्हें गंगा से बरामद चाकू तो पुलिस ने दिया था। साक्ष्य व गवाह न ठहरने पर मोहित को 17 सितंबर 2017 को बरी कर दिया गया। कोर्ट ने फर्जी गुडवर्क के मामले में जांच का भी आदेश दिया। वकील का कहना है कि अवमानना का प्रार्थना पत्र दायर किया गया तो न्यायालय ने एसएसपी और डीजीपी से इस संबंध में दोषी विवेचक पर की गई कार्रवाई की जानकारी देने का आदेश दिया।