नई दिल्ली: जैविक खेती को बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार ने किसानों की आय बढ़ाने की योजना पर अमल शुरू कर दिया है। केंद्र सरकार इसके लिए तकनीकी और वित्तीय सहायता भी मुहैया करा रही है। जैविक कृषि उत्पादन की वैश्विक मांग से जैविक कृषि के क्षेत्र में कई संभावनाएं हैं।
उर्दू न्यूज़ पोर्टल मईशत के अनुसार अकेंद्रीय मंत्री राधा मोहन सिंह ने पूर्वोत्तर के राज्यों के कृषि अधिकारियों और वैज्ञानिकों से कहा है कि यहां जैविक कृषि और इससे जुड़े मिशनरी सफल साबित हो सकते हैं।
देश के 12 पहाड़ी और मैदानी राज्यों के कृषि विज्ञान केंद्रों के वैज्ञानिक एवं राज्य स्तर के अधिकारियों से बातचीत के दौरान कृषि मंत्री राधा मोहन ने कहा कि किसानों की आय बढ़ाने के लिए लागत घटाने के साथ उपज की अच्छी कीमत दिलाना होगा। इसके लिए जैविक खेती सबसे उपयुक्त तरीका है, जिसका उपयोग पहाड़ी राज्यों के साथ पूर्वोत्तर क्षेत्रों में सफलतापूर्वक किया जा सकता है।
पहाड़ी क्षेत्र में अब कीवी, जैतून, स्ट्रॉबेरी, चेरी, अखरोट, नारंगी, माल्टा, बेर, नाशपाती और सेब की खेती हो रही है। कृषि मंत्री ने कहा कि इन फलों की जैविक खेती से होने वाली उपज को घरेलू बाजारों में पहुंचाने की जरूरत है ताकि किसानों को उचित मूल्य मिल सके।