पाकिस्तान में 10 सालों से भी ज्यादा वक्त गुजारने के बाद अक्तूबर में हिंदुस्तान लौटी गीता को अपनी बेटी बताते हुए भोपाल के एक परिवार ने इंदौर के जिला एडमिसटरेशन से इस खातून गीता से मुलाकात की मंजूरी मांगी है।
एडमिसटरेशन के एक आला ऑफिसर ने आज बताया भोपाल जिले के बाशिंदे रणजीत सिंह और उनकी बीवी माया ने हमें कल एप्लिकेशन देकर ये दावा किया है कि गीता और कोई नहीं बल्कि उनकी बेटी है, जिसका नाम प्रीति है, जो करीब 27 साल पहले ट्रेन में सफर के दौरान उनसे अलग हो गयी थी.’
उन्होंने बताया कि गीता से मुलाकात के लिए इस परिवार के एप्लिकेशन की जांच की जा रही है। जांच के बाद इसे हिंदुस्तान की हुकूमत को भेजा दिया जायेगा। हुकूमत ही तय करेगी कि इन लोगों को गीता से मुलाकात की मंजूरी दी जाये या नहीं।