गौवंश पशुओ को अवैध रूप से बांधकर रखने पर भी कार्रवाई

रांची : रांची में सोमवार को जिला स्तरीय पशु क्रूरता निवारण समिति की बैठक हुई । उक्त बैठक मे झारखंड गोवंशीय पशु हत्या प्रतिषेध अधिनियम, 2005 मे निहित प्रावधानो के विषय पर विस्तृत चर्चा की गई । उक्त प्रावधान के अन्तर्गत हत्या के लिए गोवंशीय पशुओ के परिवहन, तस्करी एवं अवैध रूप मे क्रय-विक्रय पर रोकथाम पर निर्णय लिए गए । इस निर्णय के तहत जिला की सीमाओ को सील /बैरिकेडिंग कर पशुओ के परिवहन करने वाले वाहनो की सघन जांच करते हुए अवैध रूप से ले जाने वाले पशुओ को जब्त कर वाहन चालक को भी वाहन सहित गिरफ्तार कर जेल भेजने का निर्णय लिया गया ।इस हेतु दोनो अनुमंडल पदाधिकारी को अपने स्तर से अविलंब कार्रवाई करने का निर्देश दिया गया ।

वरीय पुलिस अधीक्षक से सभी थाना प्रभारी को अविलंब कार्रवाई करने हेतु आदेश निर्गत करने का अनुरोध किया गया । जिला स्तरीय कमिटी स्थानीय थाना प्रभारी के साथ मिलकर पशुओ को अवैध रूप से बांधकर रखने, उनकी तस्करी, हत्या इत्यादि से संबंधित मामले संज्ञान मे आते ही तत्काल उनकी जांच करते हुए कानूनी कार्रवाई सुनिश्चित करेगी । प्रखंड स्तर पर सभी प्रखंड पशुपालन पदाधिकारी ऐसे मामलो पर निगरानी रखते हुए प्रखंड विकास पदाधिकारी एवं थाना प्रभारी से समन्वय स्थापित करते हुए नियमानुसार कार्रवाई करेंगे ।

ऐसे सभी मामलो मे कमिटी की जाने वाली छापेमारी मे स्थानीय शांति समिति के सदस्य, अल्पसंख्यक समुदाय के खलीफा, काजी, मौलाना के साथ साथ अन्य माननीय लोगो की मदद लेते हुए कानून के प्रावधान की जानकारी देते हुए अपनी कार्रवाई करेगी । जब्त पशुओ को कानूनी रूप से पालन पोषण एवं रखवाली हेतु जिम्मेनामा पर सौंपने के बिंदु पर भी रांची के गौशाला के अध्यक्ष के साथ विस्तार पूर्वक चर्चा की गई ।

उन्होंने कहा कि सरकार और पुलिस  सोसाइटी व संस्था की रिपोर्ट की जांच कराने के बजाय उसके आधार पर डोरंडा में लोगों के घरों का ताला तोड़ कर 300 से अधिक दुधारू गायों को ले जाती है़  इसमें सरकार की अल्पसंख्यक विरोधी मानसिकता  झलकती है़ सरकार विकास और रोजगार का काम   करने के बजाय लोगों को लड़वा रही है.