चीनी दारुल हुकूमत बीजिंग में बड़े पैमाने पर फ़ौजी प्रेड का इनेक़ाद करते हुए आज यौमे फ़तह मनाया जा रहा है। दूसरी आलमी जंग के बाद चीन की तरफ़ से अपनी फ़ौजी ताक़त का ये सबसे बड़ा मुज़ाहिरा है।
दारुल हुकूमत बीजिंग में इस प्रेड का इनेक़ाद बर्रे आज़म एशिया में दूसरी आलमी जंग के इख़तेताम और टोक्यो हुकूमत की तरफ़ से शिकस्त के ऐलान के सत्तर बरस मुकम्मल होने की याद में किया जा रहा है।
इस प्रेड में रूसी सदर व्लादीमीर पुतीन समेत कोई तीस मुल्कों के रहनुमा शरीक हुए। पाकिस्तानी सदर ममनून हुसैन भी इसी प्रेड के सिलसिले में चीन के दौरे पर हैं। इस तक़रीब से पहले चीन ने अपनी फ़ौज की नफ़री में तीन लाख की कमी का भी ऐलान किया है।
चीन की फ़ौज इस वक़्त तक़रीबन तेईस लाख फ़ौजीयों पर मुश्तमिल है और इस का शुमार दुनिया की सबसे बड़ी फ़ौजों में होता है। ताहम चीनी सदर शि जिनपिंग ने कोई टाइम फ्रे़म नहीं दिया कि फ़ौज में कमी कब तक की जाएगी।
चीन अपनी फ़ौज को जदीद तरीन बनाने में मसरूफ़ है और यही वजह है कि सरमायाकारी फ़ौजीयों की तादाद बढ़ाने की बजाय जदीद तरीन टेक्नोलॉजी के हामिल हथियारों की तैयारी में की जा रही है।